JCB का रंग पीला ही क्यों, लाल या नीला क्यों नहीं? दिलचस्प है इसके पीछे की ये वजह

punjabkesari.in Sunday, Dec 18, 2022 - 06:08 PM (IST)

नेशनल डेस्कः अक्सर सड़क, मकान या अन्य किसी कंस्ट्रक्शन साइट पर बुल्डोजर दिख जाता है। बुल्डोजर यानी जेसीबी। राह चलते अगर ये भारी भरकम मशीन दिख जाए तो कुछ मसय के लिए आंखे इस पर टिक जाती हैं। लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि हरेक जेसीबी का रंग पीला ही क्यों होता है? मतलब अगर आप कुछ और मशीनें देखें तो पाएंगे उनमें कई अलग-अलग रंग मौजूद होते हैं लेकिन जेसीबी सिर्फ पीले रंग में ही क्यों होती है और क्या इसके पीछे कोई खास वजह है?

ऐसा नहीं है कि जेसीबी का रंग हमेशा से पीला ही रहा हो। बल्कि एक समय समय में इसका रंग राल और सफेद हुआ करता था लेकिन इसे बनाने वाली कंपनी ने इसके रंग में बदलाव किया और पूरी बॉडी पर पीला रंग चढ़ाने का फैसला किया। इसके बाद ये सभी जेसीबी का रंग एक ही यानी पीला ही होता है। अब सवाल है कि आखिर क्यों पीला की क्यों...लाल, नीला या हरा क्यों नहीं?

जेसीबी के पीले रंग का होने के पीछे एक खास कारण है। दरअसल, जब ये लाल और सफेद रंग की हुआ करती थी तो कंस्ट्रक्शन साइट पर इसे दूर से या ऊंचाई से देख पाने में दिक्कत होती थी। ये दूर से दिखाई नहीं देती थी। रात में ये मशीन बिलकुल भी नहीं दिखती थी। इसलिए इसे बनाने वाली कंपनी ने फैसला लिया कि इसका रंग कुछ ऐसा रखते हैं जिससे ये दूर से आसानी से दिख जाए। इसके बाद पीले रंग को इसके लिए चुना गया और तब से सभी जेसीबी पर यही रंग नजर आता है।

जेसीबी कंपनी का नाम है मशीन का नहीं
आप जिस मशीन को जेसीबी पुकारते हैं उसका नाम जेसीबी नहीं है बल्कि ये उस कंपनी का नाम है जो इसे तैयार करती है। भारत से 110 देशों में एक्सपोर्ट होने वाली इस मशीन को बनाने वाली कंपनी के मालिक और फाउंडर का नाम जोसेफ सिरिल बामफोर्ड है। इन्हीं के नाम का शॉर्ट फॉर्म है जेसीबी और इसी नाम पर कंपनी का नाम भी जेसीबी रखा गया है। बामफोर्ड ने इस कंपनी की स्थापना 1945 में की थी।

जेसीबी पूरी दुनिया में करीब 300 प्रकार की मशीनें तैयार करती है। इसका व्यापार भी करीब 150 देशों में है। जानकारी के मुताबिक 22 देशों में इसके मैन्युफैक्चरिंग यूनिट्स हैं। जीसीबी नाम इतना प्रचलित हो गया कि ब्रिटेन की मशहूर ऑक्सफोर्ड डिक्शनरी ने भी इस नाम को अपने शब्दकोश में ट्रेड मार्क के रूप में शामिल किया है।


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Content Writer

Yaspal

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