Stock Market Crash on Thursday खुलते ही क्रैश हुआ बाजार, निवेशकों के लाखों करोड़ स्वाहा

punjabkesari.in Thursday, May 22, 2025 - 10:33 AM (IST)

बिजनेस डेस्कः भारतीय शेयर बाजार गुरुवार (22 मई) को गिरावट में ओपन हुए। बीएसई सेंसेक्स में शुरुआती कारोबार में 800 अंक से अधिक की गिरावट आई है जबकि निफ्टी 24,600 अंक से नीचे आ गया। रिलायंस इंडस्ट्रीज (RIL), एचडीएफसी, इंडसइंड बैंक और आईसीआईसीआई बैंक जैसे भारी भरकम वजन वाले शेयरों में गिरावट ने बाजार को नीचे खींचा।

सुबह 9.35 बजे बीएसई सेंसेक्स 853.10 अंक यानी 1.05% गिरावट के साथ 80,743.53 अंक पर आ गया। नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी50 इंडेक्स भी 266.45 अंक यानी 1.07% की गिरावट के साथ 24,547 अंक तक लुढ़क गया। इस गिरावट से BSE पर लिस्टेड सभी कंपनियों का कुल मार्केट कैप 2.5 लाख करोड़ रुपए घटकर 438.68 लाख करोड़ रुपए हो गया।

बैंकिंग और IT शेयरों में कमजोरी के कारण बाजार नीचे गया। अमेरिका में वित्तीय स्थिति को लेकर चिंता और ट्रेजरी यील्ड बढ़ने से निवेशकों का सेंटीमेंट कमजोर हुआ है। अमेरिका में वॉल स्ट्रीट में आई गिरावट के बाद ज्यादातर एशियाई बाजारों में भी शुरुआती कारोबार में गिरावट देखी गई। अमेरिका के 20 साल के सरकारी बॉन्ड पर यील्ड नवंबर 2023 के बाद सबसे ऊंचे स्तर पर पहुंच गया। मूडीज ने पिछले शुक्रवार को अमेरिका की क्रेडिट रेटिंग घटा दी थी। इसके बाद से निवेशकों का भरोसा कमजोर बना हुआ है। अमेरिका पर बढ़ते कर्ज को लेकर चिंता है। ट्रेजरी यील्ड बढ़ने से विदेशी निवेशकों के लिए बॉन्ड ज्यादा आकर्षक हो जाते हैं। इससे भारत जैसे उभरते बाजारों से पूंजी बाहर निकलने लगती है।

बुधवार को कैसी थी stock market की चाल?

इससे पहले बुधवार को बाजार चढ़कर बंद हुए। बीएसई सेंसेक्स यह 410.19 अंक या 0.51% की बढ़त लेकर 81,596.63 पर बंद हुआ। निफ्टी-50 में भी मजबूती आई और यह 129.55 अंक या 0.52% की मजबूती के साथ 24,813.45 पर क्लोज हुआ।

वैश्विक बाजारों का क्या हाल?

गुरुवार को लंबी अवधि के अमेरिकी ट्रेजरी यील्ड 18 महीनों में सबसे ऊंचे स्तर पर पहुंच गए। वहीं, एशियाई शेयर और डॉलर में गिरावट आई। दुनिया की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था में वित्तीय दृष्टिकोण बिगड़ने की चिंता से निवेशकों का सेंटीमेंट कमजोर हुआ है। सबकी निगाहें अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के टैक्स बिल पर हैं, जिस पर इस सप्ताह कांग्रेस में वोटिंग होने की उम्मीद है। निवेशकों को चिंता है कि इससे अमेरिका के 36 ट्रिलियन डॉलर के कर्ज में लगभग 3.8 ट्रिलियन डॉलर जुड़ जाएंगे।

इसका असर एशिया के शेयरों पर पड़ा। जापान को छोड़कर MSCI का एशिया-पैसिफिक शेयरों का सबसे व्यापक सूचकांक 0.5% नीचे था, हालांकि यह अभी भी पिछले सत्र में छुए गए सात महीने के उच्च स्तर के करीब है। जापान का निक्केई मजबूत येन पर 0.7% नीचे था। चीन का बेंचमार्क इंडेक्स 0.2% फिसला, जबकि हांगकांग का हैंग सेंग इंडेक्स शुरुआती कारोबार में 0.8% गिर गया।
 


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Content Writer

jyoti choudhary

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