चीनी रक्षा मंत्री जनरल ली ने राजनाथ सिंह से कहा, भारत-चीन सीमा पर स्थिति ‘आम तौर पर स्थिर''

punjabkesari.in Saturday, Apr 29, 2023 - 12:54 PM (IST)

बीजिंग: चीन के रक्षा मंत्रालय ने शुक्रवार को कहा कि भारत और चीन की सीमा पर स्थिति ‘‘आमतौर पर  स्थिर'' है तथा दोनों पक्षों को द्विपक्षीय संबंधों में सीमा संबंधी मुद्दे को ‘‘उचित स्थान पर'' रखना चाहिए तथा सीमा स्थिति के सामान्य प्रबंधन के रूप में बदलाव को प्रोत्साहित करना चाहिए। इससे पहले भारत ने चीन से स्पष्ट रूप से कहा कि उसके द्वारा सीमा समझौते के उल्लंघन से द्विपक्षीय संबंधों की संपूर्ण बुनियाद को नुकसान पहुंचा है। चीन के रक्षा मंत्री ली शांगफू भारत की मेजबानी में वहां आयोजित शंघाई सहयोग संगठन (SCO) के रक्षा मंत्रियों की बैठक में शामिल होने के लिए दिल्ली गए हैं।

 

उन्होंने बृहस्पतिवार को भारतीय समकक्ष राजनाथ सिंह के साथ 45 मिनट तक बैठक की और इस दौरान दोनों मंत्रियों ने मई 2020 से पूर्वी लद्दाख क्षेत्र में बने गतिरोध पर चर्चा की। बैठक में सिंह ने ली से कहा कि मौजूदा सीमा समझौतों का चीन द्वारा उल्लंघन करने से दोनों देशों के बीच संबंधों की संपूर्ण बुनियाद को नुकसान पहुंचा है और वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) पर सभी मुद्दों का समाधान मौजूदा द्विपक्षीय समझौतों के अनुरूप निकाला जाना चाहिए। चीनी रक्षा मंत्रालय ने शुक्रवार को जारी एक बयान में बताया कि बैठक में दोनों पक्षों ने सैन्य एवं द्विपक्षीय संबंधों पर विचार साझा किए।

 

जनरल ली ने कहा, ‘‘चीन-भारत सीमा पर इस समय स्थिति आम तौर पर सामान्य है और दोनों पक्षों ने सैन्य एवं राजनयिक माध्यमों से संवाद बरकरार रखा है।'' उन्होंने कहा, ‘‘दोनों पक्षों को दीर्घकालिक दृष्टिकोण अपनाना चाहिए, द्विपक्षीय संबंधों में सीमा मुद्दे को उचित स्थान पर रखना चाहिए और सीमा स्थिति के सामान्य प्रबंधन के रूप में बदलाव को प्रोत्साहित करना चाहिए।'' ली ने सिंह से कहा, ‘‘ऐसी उम्मीद की जाती है कि दोनों पक्ष दोनों सेनाओं के बीच आपसी विश्वास को लगातार मजबूत करने और द्विपक्षीय संबंधों के विकास में उचित योगदान देने के लिए मिलकर काम करेंगे।'' उन्होंने कहा कि प्रमुख पड़ोसी देशों और महत्वपूर्ण विकासशील देशों के रूप में, चीन और भारत के बीच मतभेदों की तुलना में साझा हित कहीं अधिक हैं।

 

ली ने कहा, ‘‘दोनों पक्षों को द्विपक्षीय संबंधों और एक-दूसरे के विकास को एक समग्र, दीर्घकालिक और सामरिक दृष्टिकोण से देखना चाहिए और वैश्विक एवं क्षेत्रीय शांति तथा स्थिरता के लिए अपनी समझ और ताकत का संयुक्त रूप से योगदान देना चाहिए।'' भारत सरकार के सूत्रों ने बताया कि राजनाथ सिंह ने ली से कहा कि पूर्वी लद्दाख में टकराव वाले बाकी बिंदुओं से सैनिकों की वापसी के बाद तनाव कम करने की दिशा में काम होना चाहिए। सिंह ने सकारात्मक प्रतिक्रिया की उम्मीद जताई। रक्षा मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि दोनों मंत्रियों ने भारत-चीन सीमा क्षेत्रों के घटनाक्रम और द्विपक्षीय संबंधों के बारे में खुलकर बातचीत की।

 

उसने कहा, ‘‘रक्षा मंत्री सिंह ने स्पष्ट संदेश दिया कि भारत और चीन के बीच संबंधों का विकास सीमाओं पर अमन-चैन की स्थिति पर आधारित है।'' मंत्रालय ने कहा, ‘‘उन्होंने कहा कि एलएसी पर सभी मुद्दों का समाधान मौजूदा द्विपक्षीय समझौतों और प्रतिबद्धताओं के अनुरूप करने की जरूरत है।'' मंत्रालय के अनुसार सिंह ने इस बात को दोहराया कि मौजूदा समझौतों के उल्लंघन से द्विपक्षीय संबंधों की संपूर्ण बुनियाद को नुकसान पहुंचा है। 

 

 


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Content Writer

Tanuja

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