Gold खरीदने से पहले जान लें यह नियम, नकली गहनों से बचाएगा HUID कोड
punjabkesari.in Wednesday, Apr 30, 2025 - 11:48 AM (IST)

बिजनेस डेस्कः अक्षय तृतीया पर सोने की खरीदारी की परंपरा लंबे समय से चली आ रही है। इस शुभ दिन को धन और समृद्धि का प्रतीक माना जाता है, इसलिए लोग सोना खरीदकर इसे शुभ मानते हैं लेकिन गहनों की कीमत अधिक होने के कारण हर खरीदार चाहता है कि वह असली और शुद्ध सोना ही खरीदे। इसी को सुनिश्चित करने के लिए सरकार ने पिछले कुछ वर्षों से सोने और चांदी के गहनों पर हॉलमार्किंग को अनिवार्य कर दिया है।
हॉलमार्क क्या है?
हॉलमार्क एक आधिकारिक निशान होता है जो सोने और अन्य कीमती धातुओं की शुद्धता की गारंटी देता है। भारत में सोना और चांदी अब हॉलमार्किंग के दायरे में हैं। इस स्कीम का उद्देश्य है कि जौहरी गहनों को निर्धारित मानकों के अनुसार बनाएं और ग्राहक नकली या मिलावटी धातुओं से बच सकें।
गहनों पर HUID नंबर जरूरी
अब बाजार में बिकने वाले हर गहने पर एक छह अंकों का यूनिक कोड होना जरूरी है, जिसे हॉलमार्क यूनिक आइडेंटिफिकेशन (HUID) कहा जाता है। यह प्रक्रिया भारतीय मानक ब्यूरो (BIS) के तहत होती है, जो गहनों की जांच कर उन्हें प्रमाणित करता है।
कैसे करें असली हॉलमार्क की पहचान?
इसकी पहचान करना अब बहुत आसान है। BIS ने इसके लिए एक मोबाइल ऐप लॉन्च किया है – BIS CARE App। यह ऐप Android और iOS दोनों पर उपलब्ध है। बस गहने पर अंकित HUID नंबर को ऐप में दर्ज कीजिए और आप तुरंत जान सकेंगे कि वह गहना असली है या नहीं।
BIS ऐप इस्तेमाल करने का तरीका
स्टेप 1: BIS ऐप डाउनलोड करने के बाद, उसे ओपन करें और Verify HUED वाले ऑप्शन पर क्लिक करें।
स्टेप 2: अब सोने के गहने पर छपे हुए HUID नंबर को टाइप करें। आपको गहने की पूरी जानकारी दिखाई देगी। जूलरी का रजिस्ट्रेशन नंबर, हॉलमार्किंग के जांच करने वाले सेटर का रजिस्ट्रेशन नंबर और पता गहने का प्रकार, हॉलमार्किंग की तारीख और शुद्धता सोने के गहने पर छपा HUID नंबर छह अंको का अल्फान्यूमेरिक कोड होता है। ये BIS के लोगों और शुद्धता के निशान के पास छोटे से नंबर के रूप में होगा।