New Vande Bharat Trains: पीएम मोदी ने इन शहरों को दी चार नई वंदे भारत ट्रेन, जानें रूट और समय
punjabkesari.in Saturday, Nov 08, 2025 - 09:26 AM (IST)
नेशनल डेस्क: शनिवार का दिन भारतीय रेलवे के इतिहास में यादगार बन गया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वाराणसी से एक साथ चार नई वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेनों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। यह कदम न केवल यात्रियों के सफर को तेज और आरामदायक बनाएगा, बल्कि देश के रेलवे नेटवर्क को और आधुनिक बनाने में मदद करेगा।
इन नई ट्रेनों के साथ वंदे भारत एक्सप्रेस की कुल संख्या बढ़कर 164 हो गई है। चेन्नई की इंटीग्रल कोच फैक्ट्री (ICF) द्वारा मेक इन इंडिया के तहत तैयार की गई ये ट्रेनें आधुनिकतम तकनीक और सुविधा से लैस हैं।
धार्मिक नगरी बनारस से सांस्कृतिक धरोहर खजुराहो तक अब सफर होगा और भी आरामदायक, तेज और सुरक्षित!
— Ministry of Railways (@RailMinIndia) November 8, 2025
नई #VandeBharatExpress यात्रियों को देगी अत्याधुनिक सुविधाओं के साथ बेहतरीन यात्रा अनुभव। pic.twitter.com/nfp0cxc6Tq
आइए जानते हैं इन चार नई ट्रेनों के रूट और प्रमुख विशेषताएं:
1. बनारस-खजुराहो वंदे भारत एक्सप्रेस
यह ट्रेन बनारस और खजुराहो के बीच धार्मिक और सांस्कृतिक स्थलों को जोड़ती है। अब यात्रियों को करीब 2 घंटे 40 मिनट की समय बचत होगी। प्रयागराज और चित्रकूट जैसे प्रमुख शहर भी इस रूट में शामिल हैं। खजुराहो के यूनेस्को विश्व धरोहर स्थलों तक तेज और आरामदायक यात्रा अब संभव होगी।
2. लखनऊ-सहारनपुर वंदे भारत एक्सप्रेस
लखनऊ से सहारनपुर तक यह ट्रेन केवल 7 घंटे 45 मिनट में सफर तय करेगी, जिससे यात्रियों का लगभग 1 घंटा बच जाएगा। लखनऊ, सीतापुर, शाहजहांपुर, बरेली, मुरादाबाद, बिजनौर और सहारनपुर को जोड़ने वाली यह ट्रेन क्षेत्रीय सामाजिक और आर्थिक कनेक्टिविटी को मजबूत करेगी। रुड़की और हरिद्वार की यात्रा भी अब और आसान होगी।
3. फिरोजपुर-नई दिल्ली वंदे भारत एक्सप्रेस
पंजाब के फिरोजपुर से दिल्ली तक दौड़ने वाली यह नई वंदे भारत अब सबसे तेज ट्रेन होगी। मात्र 6 घंटे 40 मिनट में यह रूट पूरा करेगी। यह ट्रेन व्यापार, रोजगार और पर्यटन के नए अवसर प्रदान करते हुए फिरोजपुर, बठिंडा और पटियाला को राष्ट्रीय राजधानी से सीधे जोड़ेगी।
4. एर्नाकुलम-बेंगलुरु वंदे भारत एक्सप्रेस
दक्षिण भारत के यात्रियों के लिए बड़ी खुशखबरी। एर्नाकुलम से बेंगलुरु के बीच यह ट्रेन अब सिर्फ 8 घंटे 40 मिनट में सफर पूरा करेगी, यानी 2 घंटे की बचत। यह रूट केरल, तमिलनाडु और कर्नाटक के प्रमुख आईटी, व्यापारिक और शैक्षणिक केंद्रों को जोड़ता है, जिससे क्षेत्रीय विकास और पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा।
