दिल्ली हाईकोर्ट से मुंबई के पूर्व पुलिस अधिकारी संजय पांडे को राहत, एनएसई फोन टैप मामले में मिली जमानत
punjabkesari.in Thursday, Dec 08, 2022 - 07:58 PM (IST)

नेशनल डेस्क; दिल्ली उच्च न्यायालय ने मुंबई के पूर्व पुलिस आयुक्त संजय पांडे को नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) के कर्मचारियों के कथित अवैध फोन टैपिंग और जासूसी से जुड़े धनशोधन मामले में बृहस्पतिवार को जमानत दे दी और कहा कि वह ‘‘अपराध से कमाई'' प्राप्त करने के लिए प्रथमदृष्टया ‘‘दोषी नहीं'' हैं। न्यायमूर्ति जसमीत सिंह ने उन्हें एक लाख रुपये के निजी मुचलके और इतनी ही राशि की दो जमानत पर कुछ शर्तों के साथ रिहा करने का आदेश दिया।
कोर्ट ने जानें आदेश में क्या कहा?
न्यायाधीश ने कहा कि बिना सहमति के फोन टैपिंग करना प्रथमदृष्टया निजता का उल्लंघन है, धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) के तहत मामला नहीं बनता है और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने इसकी ‘‘पुष्टि नहीं की है'' कि पांडे ने आपराधिक गतिविधि से ‘‘कोई संपत्ति अर्जित या प्राप्त की।'' अदालत ने अपने आदेश में कहा, ‘‘आवेदक को अपराध से संबंधित या उसके संबंध में आपराधिक गतिविधि के परिणामस्वरूप संपत्ति अर्जित करने के लिए जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता है।''
19 जुलाई को हुए थे गिरफ्तार
अदालत ने इस बात पर गौर किया कि आरोपी के रिहा होने पर पीएमएलए के तहत अपराध दर्ज किये जाने की कोई संभावना नहीं है और इस प्रकार आवेदक को जमानत दी जाती है। ईडी ने पांडे को एनएसई कर्मचारियों की कथित अवैध फोन टैपिंग से जुड़े धनशोधन के एक मामले में 19 जुलाई को गिरफ्तार किया था। जमानत देते हुए, अदालत ने पांडे को निर्देश दिया कि जब भी कहा जाए, वह जांच में शामिल हों।
अदालत ने कहा कि मामले की सुनवाई के समय निचली अदालत के सामने पेश हों और अपना मोबाइल नंबर हर समय ‘स्विच ऑन' रखें। अदालत ने उन्हें जमानत अवधि के दौरान देश नहीं छोड़ने और अपना पासपोर्ट जमा करने के लिए भी कहा। अदालत ने उन्हें यह भी निर्देश दिया कि वे अभियोजन पक्ष के किसी भी गवाह के साथ संपर्क नहीं करें या मामले के सबूतों के साथ छेड़छाड़ न करें।