पुलिस के प्रदर्शन से BCI नाराज, कहा- यह इतिहास का सबसे काला दिन, दोषियों की हो गिरफ्तारी

punjabkesari.in Wednesday, Nov 06, 2019 - 05:47 PM (IST)

नेशनल डेस्क: बार काउन्सिल ऑफ इंडिया (बीसीआई) ने बुधवार को कहा कि दिल्ली पुलिस का मंगलवार का प्रदर्शन ‘राजनीति से प्रेरित' लगता है और यह स्वतंत्र भारत के इतिहास में सबसे काला दिन था। बीसीआई ने साथ ही कहा कि दोषी पुलिस अधिकारियों को एक सप्ताह के भीतर गिरफ्तार किया जाना चाहिए। बीसीआई अध्यक्ष मनन कुमार मिश्रा ने एक प्रेस विज्ञप्ति में कहा कि इससे पहले हमने दिल्ली के बार संघों से अपनी हड़ताल समाप्त करने को कहा था, लेकिन दिल्ली पुलिस के आचरण को देखने के बाद वह मामले में हाथ पर हाथ धरे बैठी नहीं रह सकती है। 

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शीर्ष बार निकाय ने आरोप लगाया कि पुलिसकर्मी ड्यूटी से अनुपस्थित रहे, नारेबाजी की, गंदी भाषा का इस्तेमाल किया और खुलेआम वकीलों की पिटाई करने तथा उन्हें मार डालने की धमकी दी। बीसीआई ने अपने पत्र में इस बात का पता लगाने के लिए उच्च स्तरीय समिति के गठन की भी मांग की है कि पुलिस के कल के अवैध प्रदर्शन की योजना बनाने में कौन लोग शामिल थे। विज्ञप्ति में कहा गया कि हम दोषी पुलिस अधिकारियों को एक सप्ताह के भीतर गिरफ्तार करने की मांग करते हैं। ऐसा नहीं करने पर इन लोगों की गिरफ्तारी और उनके खिलाफ उचित अनुशासनात्मक कार्रवाई की मांग को लेकर हम लोग शांतिपूर्ण धरना देंगे। बार (वकील समुदाय) एकजुट है।

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बीसीआई ने कहा कि दिल्ली पुलिस का प्रदर्शन सुनियोजित था और इसका उद्देश्य न सिर्फ वकीलों को बल्कि सरकार और न्यायपालिका को भी धमकाना था।बीसीआई ने कहा कि पुलिसकर्मियों की यह मांग कि उन्हें न्यायाधीशों और यहां तक कि न्यायिक अधिकारियों की सुरक्षा से हटा लिया जाए और उन्हें यूनियन बनाने की अनुमति देने की मांग वाकई भारत जैसे लोकतांत्रिक देश के लिए बेहद परेशान करने वाली बात है। 

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बीसीआई ने कहा कि भारत जैसे देश में पुलिस या सशस्त्र बलों को यूनियन बनाने की कानून में कोई अनुमति नहीं है। इसलिए, पुलिस का कल का बर्ताव और आचरण और कुछ नहीं बल्कि गंभीर कदाचार और कर्तव्य निर्वहन में चूक है। बार और इस देश के लोग सख्त अनुशासनात्मक कार्रवाई, धरना में शामिल लोगों के तत्काल निलंबन, नारेबाजी करने, न्यायाधीशों और वकीलों के खिलाफ गाली-गलौज करने वालों और धमकी देने वाले पुलिसकर्मियों को बर्खास्त करने की मांग करते हैं।


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shukdev

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