अब तक 32 मौतें, 4000 के पार एक्टिव केस; क्या भारत में लौट रही है कोरोना की लहर?

punjabkesari.in Monday, Jun 02, 2025 - 05:59 PM (IST)

नेशनल डेस्क: भारत में एक बार फिर कोविड-19 के मामलों में तेज उछाल देखा जा रहा है, जिससे यह सवाल उठ रहा है कि क्या देश में महामारी की नई लहर दस्तक दे रही है। अप्रैल तक जहां सक्रिय मामले कुछ सैकड़ों में थे, वहीं जून की शुरुआत में यह आंकड़ा 4000 के करीब पहुंच गया है।

नए वैरिएंट्स और प्रमुख राज्यों का हाल
NB.1.8.1 और LF.7 जैसे नए वैरिएंट्स को इस तेज उछाल का कारण बताया जा रहा है, खासकर केरल, महाराष्ट्र, दिल्ली और कर्नाटक जैसे राज्यों में। स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा 2 जून 2025 को जारी रिपोर्ट के अनुसार, पिछले 24 घंटों में 203 नए सक्रिय मरीज मिले हैं और 4 मौतें दर्ज की गई हैं। 1 जनवरी से 2 जून 2025 तक कुल मौतों का आंकड़ा 32 है, जबकि सक्रिय मरीज 3961 हो गए हैं।

केरल कुल सक्रिय मरीज 1435
केरल में कोरोना के मामले लगातार बढ़ रहे हैं। बीते 24 घंटे में 35 नए केस मिले हैं और 1 मौत दर्ज की गई है। कुल सक्रिय मरीज 1435 हो गए हैं और मौतों के मामले में यह राज्य 8 की संख्या के साथ अव्वल पर है।

महाराष्ट्र में  24 घंटे में 21 नए केस मिले
महाराष्ट्र में भी कोरोना का हाल बेहाल है। यहां बीते 24 घंटे में 21 नए केस मिले और 1 मौत दर्ज की गई है। कुल सक्रिय मरीजों की संख्या में केरल के बाद महाराष्ट्र दूसरे नंबर पर है, जहां 506 मरीज सक्रिय हैं। कुल मौतों की संख्या भी 8 दर्ज है।

दिल्ली में अब तक 4 की मौत
दिल्ली में बीते दिन 47 नए मरीज मिले और 1 की मौत हो गई। वर्तमान में दिल्ली में कुल 483 सक्रिय मरीज हैं, जबकि कुल मौतें 4 दर्ज की गई हैं।

कर्नाटक में मिले 15 नए केस
कर्नाटक में बीते दिन 15 नए केस मिले, हालांकि मौतें 0 रहीं। लेकिन कुल सक्रिय मरीजों की बात करें तो, यहां 253 मरीज हैं और अब तक 4 मौतें हो चुकी हैं। इनके अलावा गुजरात, तमिलनाडु, पश्चिम बंगाल जैसे राज्यों में भी कोरोना के मामले धीरे-धीरे बढ़ रहे हैं।

नए वैरिएंट्स का खतरा
WHO और ICMR के मुताबिक, NB.1.8.1, LF.7, XFG, और JN.1 जैसे वेरिएंट्स ओमिक्रॉन के उप-वैरिएंट्स हैं। इनमें से NB.1.8.1 को 'Variant Under Monitoring (VUM)' की श्रेणी में रखा गया है। विशेषज्ञों का कहना है कि इन वेरिएंट्स से संक्रमण फिलहाल हल्का ही देखा जा रहा है। स्वास्थ्य मंत्रालय का कहना है कि घबराने की जरूरत नहीं है और स्थिति नियंत्रण में है। मेडिकल इंफ्रास्ट्रक्चर पूरी तरह तैयार है। हालांकि, यह भी सच है कि लापरवाही भारी पड़ सकती है। खासकर वरिष्ठ नागरिकों, गर्भवती महिलाओं और को-मॉर्बिडिटी वाले लोगों को विशेष सावधानी बरतने की सलाह दी गई है।


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Content Editor

Harman Kaur

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