जहाज को 19 रुपए सस्ता ईंधन, बाइक वाले का निकाला तेल

punjabkesari.in Friday, Sep 15, 2017 - 11:57 AM (IST)

मोदी सरकार भले ही आम आदमी और गरीब की सरकार होने का दावा करे लेकिन सरकार के पैट्रोलियम मंत्रालय ने पिछले 3 साल में खुद को अमीरों का मसीहा ही साबित किया है। पिछले 3 साल की कच्चे तेल की कीमतों की यदि पैट्रोल, डीजल, रसोई गैस और ए.टी.एफ. के दाम से तुलना की जाए तो पैट्रोलियम मंत्रालय और पैट्रोल कंपनियों की मंशा साफ हो जाती है।

लोगों पर सितम, एयरलाइंस पर करम
आज से ठीक 3 साल पहले यानी 15 सितम्बर, 2014 को अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल के दाम 96.74 डालर प्रति बैरल थे जो आज 53.83 डालर प्रति बैरल हैं, यानी 2014 के स्तर से लगभग 43 डालर प्रति बैरल कम। उस दौरान पैट्रोल के दाम 68.51 रुपए प्रति लीटर थे जबकि इस दौरान डीजल के दाम 58.97 रुपए प्रति लीटर थे।
PunjabKesari
आज पैट्रोल के दाम 70.39 और डीजल के दाम 58.74 रुपए प्रति लीटर हैं, यानी भाव लगभग उसी स्तर पर हैं लेकिन सबसे ज्यादा  हैरान करने वाला आंकड़ा ए.टी.एफ . के दाम का है। आज दिल्ली में ए.टी.एफ . के दाम 50,020 रुपए प्रति किलो लीटर हैं जबकि सितम्बर 2014 में ये 69,603 रुपए प्रति किलो लीटर थे।

एक किलो लीटर में 1000 लीटर होते हैं, इस हिसाब से एयर टर्बाइनल फ्यूल (ए.टी.एफ.) की कीमत में करीब 19 रुपए प्रति लीटर की कमी है। यानी सरकार को एयरलाइंस की सेहत की तो चिंता है लेकिन दोपहिया वाहन चलाने वाले आम आदमी की फिक्र नहीं है। सरकार ने आम आदमी पर दूसरा सितम एल.पी.जी. के दाम बढ़ा कर किया है।
PunjabKesari
दिल्ली में 14.2 किलो के सिलैंडर का दाम 487.18 रुपए है जबकि 1 सितम्बर, 2014 को यह सिलैंडर 414 रुपए का था, यानी आम आदमी को 3 साल में सिलैंडर पर 70 रुपए ’यादा अदा करने पड़ रहे हैं, यानी एल.पी.जी. भी इस दौरान करीब 5 रुपए लीटर महंगी कर दी गई है।

तेल की बढ़ती कीमतों पर भाजपा महासचिव तरुण चुघ ने कहा कि एयरलाइंस देश के पर्यटन उद्योग में बड़ी भूमिका अदा करती हैं और पर्यटन से लाखों लोगों को रोजगार मिलता है, लिहाजा ए.टी.एफ. के दाम पैट्रोल की तर्ज पर नहीं बढ़े हैं। सरकार की नीति आम जनता को सस्ती एयर टिकट मुहैया करवाने की है और एयरलाइन कम्पनियां साधारण जनता को 2500 रुपए प्रति टिकट पर हवाई सफर भी करवा रही हैं। सस्ते ए.टी.एफ. को इंडस्ट्री को प्रोत्साहन वाले कदम के तौर पर देखा जाना चाहिए।


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Recommended News

Related News