पूजा के दौरान बोले जाने वाले शब्दों का अर्थ जानकर रह जाएंगे दंग
punjabkesari.in Monday, Sep 02, 2019 - 02:50 PM (IST)

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आज के समय में हर कोई अपनी समस्या के निवारण के लिए कोई न कोई धार्मिक कार्य करवाता रहता है। वहीं अपने घर की सुख-शांति के लिए इंसान पूजा-पाठ का काम करवाता है। लेकिन पूजा में उपयोग किए जाने वाली चीज़ों और शब्दों के अर्थ के बारे में शायद ही कोई जानता होगा। कई लोगों में इसके बारे में जानने की उत्सुकता बनी रहती है, आज हम आपको कुछ शब्दों का अर्थ व उनके उपयोग के बारे में बताएंगे।
पंचोपचार- फूल, धूप और दीप द्वारा पूजन करने को ‘पंचोपचार’ बोलते है।
पंचामृत- दूध, दही, शहद, गंगाजल और मक्खन के मिश्रण को ‘पंचामृत’ बोला जाता है।
पंचगव्य- गाय के दूध , मूत्र और गोबर के सम्मिलित रूप को ‘पंचगव्य’ बोला जाता है।
त्रिधातु- सोना, चांदी और लोहा त्रिधातु कहलाता है।
पंचधातु- सोना, चांदी, लोहा, तांबा और जस्ता पंचधातु कहलाता है।
नैवैध्य- खीर ,मिष्ठान आदि मीठी भोजन साम्रगी।
नवरत्न- हीरा, गोमेद, वैदूर्य, माणिक्य, मोती, पुखराज, नीलम, मूंगा और पन्ना।
अर्घ्य- शंख द्वारा जल छोड़ने को अर्घ्य देना कहा जाता है।