Utpanna Ekadashi Vrat Katha: उत्पन्ना एकादशी पर हुआ था मां एकादशी का जन्म, पढ़ें धार्मिक कथा

punjabkesari.in Saturday, Nov 15, 2025 - 07:36 AM (IST)

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Utpanna Ekadashi Vrat Katha 2025: उत्पन्ना एकादशी का व्रत न केवल पापों से मुक्ति देता है बल्कि आत्मा को शुद्ध करता है। यह दिन आध्यात्मिक जागरण, विष्णु भक्ति और मोक्ष प्राप्ति के लिए सर्वश्रेष्ठ माना गया है। इस एकादशी से व्रत की शुरुआत करना शुभ, सफल और जीवन में शांति लाने वाला होता है।

Utpanna Ekadashi Vrat Katha

Utpanna Ekadashi Vrat Katha उत्पन्ना एकादशी व्रत कथा
पौराणिक कथा के अनुसार, सतयुग में मुर नामक एक असुर था, जिसने अपनी शक्ति से तीनों लोकों में आतंक फैला दिया। देवताओं ने भयभीत होकर भगवान विष्णु से रक्षा की प्रार्थना की। भगवान विष्णु और मुर के बीच भयंकर युद्ध हुआ, जो हजारों वर्षों तक चला। युद्ध के दौरान जब विष्णु भगवान विश्राम के लिए एक गुफा में सो गए, तब मुर ने उन पर आक्रमण करने की योजना बनाई।

Utpanna Ekadashi Vrat Katha
उसी समय भगवान विष्णु के शरीर से एक दिव्य तेजस्विनी कन्या उत्पन्न हुई, जिसने मुर का वध कर दिया। जब विष्णु भगवान जागे, उन्होंने देखा कि उस कन्या ने उनकी रक्षा की है। भगवान विष्णु ने प्रसन्न होकर कहा, “हे देवी! तुम आज से एकादशी नाम से जानी जाओगी। जो भी तुम्हारा व्रत करेगा, उसके सभी पाप नष्ट होंगे और उसे मोक्ष प्राप्त होगा।”

Utpanna Ekadashi Vrat Katha
इसी दिन से एकादशी व्रत की परंपरा प्रारंभ हुई और यह दिन उत्पन्ना एकादशी कहलाया।

Utpanna Ekadashi Vrat Katha


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Content Writer

Niyati Bhandari

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