Dandvat Pranam: क्यों किया जाता है दंडवत प्रणाम, जानें इसका धार्मिक महत्व

punjabkesari.in Sunday, Jan 12, 2025 - 07:34 AM (IST)

शास्त्रों की बात, जानें धर्म के साथ

Dandvat Pranam: भारतीय संस्कृति में प्रणाम करने की परम्परा प्राचीन काल से चली आ रही है। मान्यता है कि प्रणाम करने से न सिर्फ आशीर्वाद मिलता है, बल्कि यह इस बात का प्रतीक है कि व्यक्ति अपने अभिमान को छोड़ चुका है। शास्त्रों में कहा गया है कि एक दण्डवत प्रणाम करने से एक यज्ञ के बराबर पुण्य मिलता है। शास्त्रों में दंडवत यानी कि साष्टांग प्रणाम को सर्वश्रेष्ठ बताया गया है।

जब हम गुरुघर, मंदिर या धर्मस्थान पर जाते हैं तो दंडवत प्रणाम करते हैं अर्थात डंडे की तरह समर्पण भाव से नमस्कार करते हैं। यह तन का प्रतीक है, मन का प्रतीक नहीं है। सीधा तो मन को करना है, जिसमें हजारों बल पड़े हुए हैं। मन को दंडवत करना होगा।

PunjabKesari Dandvat Pranam

हम गुरु पर्व मनाते हैं, स्मृति दिवस मनाते हैं, जिनका दिन मनाते हैं, उनकी बातों को मानने से बात बनेगी। गुरु के चरणों को नहीं, वचनों को पकड़ें। गुरु के वचनों को अमलीजामा पहनाएं। कहा गया है न -
कुंभ का बद्धा जल रहे, जल बिन कुंभ न होय।
गुरु का बद्धा मन रहे, गुरु बिन ज्ञान न होय।
मन बेचे सतगुरु के पास तिस सेवक के कारज रास।

PunjabKesari Dandvat Pranam

जब हम कोई वस्तु बेच देते हैं और उसके बदले कीमत वसूल लेते हैं, तो उस वस्तु पर हमारा कोई अधिकार नहीं रहता। जब मन को गुरु के अर्पण कर देंगे और उसके बदले अनमोल नाम धन ले लेंगे तो गुरु के कहने पर ही चलना पड़ेगा। तभी जाकर मन डंडे की तरह सीधा हो पाएगा और सच्चे एवं सही मार्ग पर चलने लगेगा।          

दंडवत प्रणाम का शारीरिक लाभ
दंडवत प्रणाम न केवल मानसिक और आध्यात्मिक लाभ प्रदान करता है बल्कि यह शारीरिक रूप से भी फायदेमंद है। जब व्यक्ति दंडवत प्रणाम करता है, तो वह अपने शरीर को पूरी तरह से झुका देता है, जिससे पूरे शरीर के मांसपेशियों में खिंचाव और तनाव कम होता है। यह रीढ़ की हड्डी के लिए लाभकारी है, क्योंकि यह शरीर को फैलाने और संतुलन बनाए रखने में मदद करता है। इस क्रिया से रक्तसंचार भी बेहतर होता है और शरीर में ताजगी का अहसास होता है। यह हृदय और श्वसन प्रणाली को भी बेहतर बनाता है। दंडवत प्रणाम करने से मानसिक शांति मिलती है और शरीर को शारीरिक थकान से राहत मिलती है।

PunjabKesari Dandvat Pranam
 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Content Editor

Prachi Sharma

Related News