Bhuvaneshwari Jayanti: भुवनेश्वरी जयंती पर गुप्त रूप से करें ये पूजा, कोई काम न रहेगा अधूरा
punjabkesari.in Thursday, Sep 04, 2025 - 07:17 AM (IST)

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Bhuvaneshwari Jayanti 2025: चौदह भुवनों की स्वामिनी मां भुवनेश्वरी दस महाविद्याओं में से एक हैं। 4 सितंबर को भाद्रपद शुक्ल पक्ष की द्वादशी तिथि को भुवनेश्वरी जयंती मनाई जा रही है। साधक संसारिक और आध्यात्मिक सफलता के लिए मां भुवनेश्वरी की गुप्त साधना करते हैं। जिससे उनको सिद्धियां प्राप्त होती हैं और उसका मन साधना में स्थिर होता है। इनकी उपासना से भौतिक सुख-सुविधाएं और आध्यात्मिक उन्नति दोनों प्राप्त होते हैं। रोग-शोक से मुक्ति मिलती है। मानसिक, शारीरिक और पारिवारिक कष्ट दूर होते हैं। भुवनेश्वरी साधना से वाणी और व्यक्तित्व में ऐसा तेज आता है कि व्यक्ति सबको सहज आकर्षित करता है। घर में शांति, धन, सौभाग्य और लक्ष्मी की वृद्धि होती है।
Keep these things in mind while worshiping Maa Bhuvaneshwari मां भुवनेश्वरी की पूजा में ध्यान रखें ये बातें
पीपल की समिधा से हवन करने से जीवन में चल रही हर समस्या से छुटकारा मिलता है।
दूध और चावल से बनी खीर का होम करने से कारोबार में तरक्की होती है।
बरगद की समिधा से हवन करने पर तर्क-विर्तक में विजय हासिल होती है।
गूलर की समिधा से होम करेंगे तो शत्रु बुरी तरह से परास्त होंगे और भविष्य में कभी भी आपका सामना करने की हिम्मत नहीं करेंगे।
सरसों का होम किसी को भी आपका गुलाम बना देगा।
घी, मधु और शक्कर से बनी खीर का होम करेंगे तो मनमुताबिक ट्रांसफर, जॉब में तरक्की और मनचाही नौकरी भी मिलेगी।
Material for Maa Bhuvaneshwari Puja मां भुवनेश्वरी पूजा सामग्री– लाल फूल, सिंदूर, चंदन, धूप, दीप, नैवेद्य (खीर, गुड़, फल), और सुपारी रखें।
Method of Puja on Bhuvaneshwari Jayanti भुवनेश्वरी जयंती पूजा विधि
प्रातः स्नान करके लाल या गुलाबी वस्त्र धारण करें और संकल्प लें। देवी भुवनेश्वरी की प्रतिमा/चित्र को स्वच्छ आसन पर स्थापित करें।
जल, आम्रपल्लव, नारियल और सुपारी से कलश स्थापित करें। दीप जलाकर देवी का ध्यान करें। लाल पुष्प, अक्षत और सिंदूर अर्पित करें। देवी को खीर और मिश्री का भोग लगाएं। देवी भुवनेश्वरी के इस मंत्र का जाप करें-
Maa Bhuvaneshwari Mantra मां भुवनेश्वरी मंत्र- ॐ ह्रीं भुवनेश्वर्यै नमः
देवी की आरती करें और भुवनेश्वरी स्तोत्र या देवी भागवत का पाठ करें। गरीबों को अन्न, वस्त्र या दक्षिणा दान करें।