Amarnath Yatra 2025: अमरनाथ यात्रा 12वें दिन में प्रविष्ट, 7049 श्रद्धालुओं को जम्मू से कश्मीर किया रवाना
punjabkesari.in Monday, Jul 14, 2025 - 07:01 AM (IST)

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जम्मू (कमल) : जम्मू के यात्री निवास से तड़के अमरनाथ यात्रा के 12वें दिन 7049 श्रद्धालुओं का जत्था दक्षिण कश्मीर में स्थित बालटाल और नुनवान-पहलगाम बेस कैम्प की ओर रवाना हुआ। केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल के जवानों की सुरक्षा के बीच बम-बम भोले के जयकारे लगाते हुए श्रद्धालु अमरनाथ धाम के लिए रवाना हुए।
सुबह 3.30 बजे सबसे पहले यात्रियों के वाहनों को बालटाल के लिए रवाना किया गया। 138 वाहनों के इस काफिले में कुल 2819 श्रद्धालु सवार थे जिनमें 2131 पुरुष, 727 महिलाएं, 23 बच्चे, 9 साधु और 1 साध्वी शामिल थीं, जबकि सुबह 4.20 बजे नुनवान पहलगाम के लिए 4158 यात्रियों को 148 वाहनों में रवाना किया गया जिनमें 3328 पुरुष, 696 महिलाएं, 8 बच्चे, 98 के करीब साधु और 28 के करीब साध्वियां शामिल थीं।
बेस कैंप में शिव भक्तों का पहुंचना जारी
यात्री निवास जम्मू में बनाए गए बेस कैंप में देशभर से श्रद्धालुओं का पहुंचना जारी है। दोपहर 1 बजे तक 2 हजार के करीब श्रद्धालु पंजीकरण कराने के बाद बेस कैंप पर पहुंच चुके थे, जबकि यात्रियों का आना जारी था। गौरतलब है कि यात्री निवास से यात्रियों को अगले दिन बालटाल और पहलगाम के लिए रवाना किया जाता है ताकि वहां से वे दोनों मार्गों से पवित्र गुफा तक पहुंचकर बाबा बर्फानी के दर्शन कर सकें। यात्री निवास में शिवभक्तों के ठहरने की व्यवस्था की गई है। जम्मू की कई अन्य जगहों में भी यात्रियों के ठहरने की व्यवस्था की गई है जिनमें गीता भवन और राम मंदिर में साधुओं के ठहरने की व्यवस्था की गई है।
सी.आर.पी.एफ. की सुरक्षा में निश्चिंत दिखे श्रद्धालु
अमरनाथ यात्रा के लिए पहला जत्था रवाना होने से पूर्व सी.आर.पी.एफ. के एस्कार्ट वाहन भी तैयार थे। यात्रा को हरी झंडी मिलने से सी.आर.पी.एफ. के सुरक्षा दस्ते यात्रियों के काफिले के रक्षा कवच बन गए। कड़ी सुरक्षा पाकर श्रद्धालु भी निश्चिंत हो गए। गौर रहे कि यात्री निवास की सुरक्षा को अभेद्य बनाया गया है। हाइटैक ड्रोन कैमरे, डॉग स्कवायॅड और आर.आई.एफ.डी. टैग्स से यात्रा को सुरक्षित बनाया गया है। आर.आई.एफ.डी. को रेडियो फ्रीक्वेंसी आइडैंटिफिकेशन कहा जाता है जिसमें अमरनाथ यात्रियों का पूरा विवरण फीड किया जाता है और रेडियो फ्रीक्वेंसी के माध्यम से लोकेशन का पता चलता है।
यह एक तरह का वायरलैस ट्रैकिंग सिस्टम है जो यात्रियों की लोकेशन को बताने का काम करता है। यात्रा के दौरान हर श्रद्धालु को यह टैग अपने पास रखना अनिवार्य है। इस टैग के कारण जनरेट होने वाली रेडियो फ्रीक्वेंसी के जरिए उन्हें ट्रैक किया जाता है। इसी प्रकार एरियल सर्विलांस के लिए हाइटैक ड्रोन कैमरे का इस्तेमाल किया जा रहा है जिसके माध्यम से पूरे रूट के कोने-कोने पर नजर रखी जा रही है।