मर्जर के बाद दुनिया का चौथा सबसे बड़ा बैंक बना HDFC बैंक, जर्मनी की आबादी से ज्यादा कस्टमर
punjabkesari.in Saturday, Jul 01, 2023 - 01:35 PM (IST)

बिजनेस डेस्कः आज यानी 1 जुलाई से HDFC बैंक में हाउसिंग फाइनेंस कंपनी HDFC लिमिटेड का मर्जर प्रभावी हो गया है। बीते शुक्रवार को दोनों कंपनियों के निदेशक मंडलों ने इस मर्जर को आखिरी मंजूरी दे दी। इसी के साथ अब एक स्वतंत्र इकाई के तौर पर HDFC लिमिटेड का अस्तित्व खत्म हो गया है।
मर्जर के बाद क्या बदल गया
HDFC अब बाजार मूल्य के हिसाब से जेपी मॉर्गन, आईसीबीसी और बैंक ऑफ अमेरिका के बाद दुनिया का चौथा सबसे बड़ा बैंक बन गया है। बता दें कि यह मर्जर देश के कॉरपोरेट सेक्टर का सबसे बड़ा सौदा है। इसका आकार 40 अरब डॉलर का है। मर्जर के बाद जो नई कंपनी वजूद में आई वो देश की सबसे बड़ी फाइनेंशियल सर्विस फर्म बन गई है। इसकी कुल एसेट्स 18 लाख करोड़ रुपए से भी अधिक होगी।
जर्मनी की आबादी से ज्यादा कस्टमर बेस
मर्जर के बाद HDFC Bank का कस्टमर बेस 120 मिलियन यानी 12 करोड़ पर पहुंच गया। यह जर्मनी देश की आबादी से अधिक है। ब्रांच का नेटवर्क 8300 पर पहुंच जाएगा, जबकि कंपनी के साथ काम करने के वाले एंप्लॉयी की संख्या 1.77 लाख पर पहुंच जाएगी।
शेयर बाजार में क्या बदलेगा
नवगठित कंपनी का बीएसई के सूचकांक में वेटेज रिलायंस इंडस्ट्रीज से भी अधिक हो जाएगा। फिलहाल रिलायंस का वेटेज 10.4 प्रतिशत है लेकिन विलय के बाद HDFC बैंक का वेटेज 14 प्रतिशत के करीब हो जाएगा। इस सौदे के तहत HDFC के प्रत्येक शेयरधारक को 25 शेयरों के बदले HDFC बैंक के 42 शेयर मिलेंगे। वहीं, HDFC के शेयर की सूचीबद्धता समाप्त करने का काम 13 जुलाई से प्रभावी होगा। आपको बता दें कि HDFC बैंक ने चार अप्रैल, 2022 को देश की सबसे बड़ी आवास वित्त कंपनी एचडीएफसी का खुद में विलय करने पर सहमति जताई थी।
चेयरमैन दीपक पारेख ने जाते-जाते क्या कहा
एचडीएफसी के चेयरमैन दीपक पारेख ने शुक्रवार को भरोसा जताया कि एचडीएफसी बैंक के स्वामित्व संभालने के साथ उसके और समूह की कंपनियों के बीच तालमेल गहरा होगा। चेयरमैन के रूप में पारेख ने शेयरधारकों को अपने आखिरी संदेश में कहा कि एचडीएफसी बैंक की मुख्य ताकतों में अब होम लोन भी शामिल होगा। पारेख ने कहा कि अब उनके लिए संन्यास लेने का वक्त आ गया है और उन्होंने एक रोमांचक भविष्य और समृद्धि की उम्मीद जताई। उन्होंने कहा, ''यह मेरे लिए भविष्य की उम्मीदों और आशाओं के साथ संन्यास लेने का वक्त है। हालांकि, एचडीएफसी के शेयरधारकों के लिए यह मेरा आखिरी संवाद होगा लेकिन इस बात के लिए निश्चिंत रहिए कि हम अब वृद्धि और समृद्धि के एक बेहद रोमांचक भविष्य की ओर बढ़ रहे हैं।''