Zirakpur Bypass: जीरकपुर-पंचकूला में नहीं लगेगा ट्रैफिक जाम, बनने जा रहा 6 लेन और 19.2 किलोमीटर लंबा बाईपास
punjabkesari.in Wednesday, Apr 09, 2025 - 04:47 PM (IST)

नेशनल डेस्क: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में बुधवार को हुई कैबिनेट बैठक में देश के बुनियादी ढांचे को मजबूती देने के लिए तीन बड़े प्रस्तावों को मंजूरी दी गई। इन योजनाओं में रेलवे लाइन का दोहरीकरण, हाईवे बाईपास का निर्माण और सिंचाई नेटवर्क का आधुनिकीकरण शामिल हैं। केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने इन फैसलों के बारे में मीडिया को जानकारी दी और बताया कि यह कदम देश में कनेक्टिविटी, रोजगार और पर्यावरण के लिए महत्वपूर्ण साबित होंगे।
जीरकपुर बाईपास (पंजाब-हरियाणा) का निर्माण
कैबिनेट समिति ने जीरकपुर बाईपास के निर्माण के लिए मंजूरी दे दी है, जो 6 लेन और 19.2 किलोमीटर लंबा होगा। इस परियोजना की लागत 1878.31 करोड़ रुपये निर्धारित की गई है। यह बाईपास पंजाब और हरियाणा में National Highways के मुख्य जंक्शनों को जोड़ने के साथ-साथ प्रधानमंत्री गति शक्ति राष्ट्रीय मास्टर प्लान के तहत विकसित किया जाएगा। बाईपास NH-7 (जीरकपुर-पटियाला) से शुरू होकर NH-5 (जीरकपुर-परवाणू) तक जाएगा, और यह जीरकपुर तथा पंचकूला जैसे व्यस्त और जामग्रस्त क्षेत्रों से ट्रैफिक को डायवर्ट करेगा। इस परियोजना से पटियाला, दिल्ली, मोहाली एयरोसिटी और हिमाचल प्रदेश के बीच सीधा संपर्क स्थापित होगा। इसके अलावा, चंडीगढ़, पंचकूला और मोहाली के अर्बन एग्लोमरेशन को एक रिंग रोड नेटवर्क के जरिए जोड़ा जाएगा।
Union Minister of Information and Broadcasting @AshwiniVaishnaw briefing media on Union Cabinet's decisions. #CabinetDecisions pic.twitter.com/jDEkzqPk80
— All India Radio News (@airnewsalerts) April 9, 2025
तिरुपति-पकाला-कटपाड़ी रेलवे लाइन का दोहरीकरण
इसके साथ ही केंद्र सरकार ने आंध्र प्रदेश और तमिलनाडु के बीच स्थित 104 किलोमीटर लंबी तिरुपति-पकाला-कटपाड़ी रेलवे लाइन के दोहरीकरण को मंजूरी दी है। इस परियोजना का कुल खर्च 1332 करोड़ रुपये होगा। यह योजना यात्रियों की सुविधा बढ़ाने, लॉजिस्टिक लागत में कमी करने और पर्यावरण पर दबाव घटाने में मदद करेगी। खासकर तिरुपति मंदिर में आने वाले लाखों तीर्थयात्रियों के लिए यात्रा को आसान बनाया जाएगा। इस निर्माण से लगभग 35 लाख मानव-दिनों का रोजगार सृजन होने की संभावना है।
M-CADWM योजना को मंजूरी
इसके साथ ही, प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना (M-CADWM) को 2025-26 तक लागू करने के लिए मंजूरी दी गई। इस योजना का उद्देश्य किसानों को बेहतर सिंचाई सेवाएं प्रदान करना है और जल की बर्बादी को रोकना है। इस योजना के तहत 1600 करोड़ रुपये की लागत से पाइपलाइन के जरिए सिंचाई जल किसानों तक पहुंचाया जाएगा, जिससे उनकी आय में भी वृद्धि होगी। इन महत्वपूर्ण परियोजनाओं से देश की आधारभूत संरचना को मजबूत करने के साथ-साथ रोजगार के अवसर, पर्यावरण संरक्षण और कृषि क्षेत्र में सुधार की उम्मीद है।