सरकार ने बढ़ाया CDS अनिल चौहान का कार्यकाल, जानें कब तक करेंगे काम

punjabkesari.in Wednesday, Sep 24, 2025 - 11:18 PM (IST)

नेशनल डेस्क: केंद्र सरकार ने देश के चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (CDS) जनरल अनिल चौहान का कार्यकाल बढ़ा दिया है। अब वह 30 मई 2026 तक इस अहम पद की जिम्मेदारी संभालेंगे। उनका मौजूदा कार्यकाल 30 सितंबर 2025 को समाप्त होने वाला था। वे पिछले तीन वर्षों से इस पद पर कार्यरत हैं।

तीनों सेनाओं के एकीकरण की जिम्मेदारी

सरकारी सूत्रों के अनुसार, जनरल चौहान के सामने सबसे बड़ी चुनौती देश के हायर डिफेंस मैनेजमेंट और रक्षा सौदों में चल रहे सुधारों को गति देना है। इसके साथ ही थल सेना, नौसेना और वायुसेना के एकीकरण की प्रक्रिया को आगे बढ़ाना भी उनकी प्रमुख जिम्मेदारी होगी। सरकार का मानना है कि ऐसे समय में जब देश को सशक्त सैन्य नेतृत्व की जरूरत है, जनरल चौहान का अनुभव और नेतृत्व अहम साबित होगा।

'ऑपरेशन सिंदूर' के बाद भी जारी रहेगा सख्त रुख

विशेषज्ञों के अनुसार, सीडीएस पद पर उनकी मौजूदगी यह सुनिश्चित करेगी कि 'ऑपरेशन सिंदूर' के बाद भी पाकिस्तान के खिलाफ भारत की सख्त सैन्य नीति जारी रहे और संचालन में निरंतरता बनी रहे।

देश के दूसरे CDS बने थे जनरल चौहान

जनरल अनिल चौहान को 30 सितंबर 2022 को देश का दूसरा चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ नियुक्त किया गया था। वे जनरल बिपिन रावत के बाद इस पद पर आए। दिलचस्प बात यह है कि उन्हें रिटायरमेंट के बाद दोबारा सेवा में बुलाया गया था। नियमों के अनुसार, 62 साल से कम उम्र के सेवानिवृत्त अधिकारी इस पद के लिए पात्र होते हैं। वह इस पद पर नियुक्त होने वाले पहले थ्री-स्टार जनरल हैं, जबकि सामान्यतः यह पद फोर-स्टार जनरल को दिया जाता है।

उत्तराखंड से हैं ताल्लुक

जनरल अनिल चौहान मूल रूप से उत्तराखंड के पौड़ी जिले के रहने वाले हैं। वे एक इन्फैंट्री अफसर रहे हैं और मई 2021 में कोलकाता स्थित फोर्ट विलियम से ईस्टर्न कमांड के जीओसी-इन-सी (GOC-in-C) पद से रिटायर हुए थे। उस दौरान उन्होंने चीन सीमा पर देश की रक्षा तैयारियों को मजबूती देने में अहम भूमिका निभाई थी।

रिटायरमेंट के बाद भी निभाई अहम भूमिका

रिटायरमेंट के बाद भी जनरल चौहान ने राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ी अहम जिम्मेदारियाँ निभाईं। वे राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित डोभाल के नेतृत्व वाले नेशनल सिक्योरिटी काउंसिल सेक्रेटेरिएट (NSCS) में बतौर सैन्य सलाहकार जुड़े रहे। इस दौरान उन्होंने सरकार की रणनीतिक नीतियों को दिशा देने में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाई। जनरल अनिल चौहान के कार्यकाल को बढ़ाकर सरकार ने यह संदेश दिया है कि देश की रक्षा और सुरक्षा रणनीति को नेतृत्व की स्थिरता और अनुभव के साथ आगे बढ़ाया जाएगा।


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News Editor

Parveen Kumar

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