इस सरपंच का 10वीं का सर्टीफिकेट जाली, गिर सकती है गाज

punjabkesari.in Saturday, Dec 10, 2016 - 01:27 PM (IST)

पिंजौर(रूपेन्द्र रावत) : हरियाणा पंचायत चुनाव में खंड पिंजोर के गांव ढालुवाल के सरपंच ने अपना 10वीं का जाली सर्टिफिकेट देकर चुनाव लड़ा और सरपंच बन बैठा। इस जालसाजी का खुलासा गांव के ही एक व्यक्ति द्वारा डाली गई आर.टी.आई. से हुआ। आर.टी.आई. से मिली जानकारी के अनुसार चुनाव आयोग को दिया 10वीं का सर्टीफिकेट जाली पाया गया। आर.टी.आई. लगाने वाले गांव ढालुवाल निवासी शशिपाल ने मुख्यमंत्री हरियाणा और डी.सी.पी. पंचकूला को दी शिकायत में जानकारी देते हुए बताया की गत 10 जनवरी, 2016 में हुए पंचायती चुनाव में वह सरपंच पद का उम्मीदवार था। 

 

गांव के मौजूदा सरपंच जगपाल ने इस पंचायती चुनाव में अपने नामांकन पत्र के साथ जो शिक्षा योग्यता का दसवीं का सर्टिफिकेट लगाकर चुनाव लड़ा था और ये चुनाव जीत भी गया था। जब इस मौजूदा सरपंच के सर्टिफिकेट के सत्यापित करने की जांच हेतु शशिपाल ने जिला पंचायत अधिकारी पंचकूला को आर.टी.आई. लगाई तो उससे मिले दस्तावेजों में पाया कि जगपाल ने चुनाव नामांकन में जो सर्टिफिकेट संलग्न किया था जिसका क्रमांक 0682070 और अनुक्रमांक (रोल नम्बर) 1030797, जो राम सकल सेमारी स्कूल इलाहाबाद (उत्तर प्रदेश) का 2010 का है। सर्टीफिकेट की कॉपी मिलते ही उसने इसकी सच्चाई जानने के लिए नैट से जानकारी प्राप्त की, जिसमें पाया गया कि इलाहाबाद के जिस स्कूल का ये सर्टीफिकेट है, उसमें 2010 में क्रमांक 0682070 और रोल नम्बर 1030797 में  ढालुवाल का सरपंच जगपाल पुत्र ओम प्रकाश नाम नहीं, बल्कि किसी जगतपाल पुत्र देवदत्त, जन्मतिथि  12 जुलाई 1993  निकली।  

 

इस जालसाजी की सूचना उसने तुरंत शिकायत के माध्यम से  डी.सी.पी. पंचकूला को 29 अगस्त 2016 को दी। इस पर कार्रवाई करते हुए अमरावती चौकी इंचार्ज योगध्यान ने बताया कि उनके पास डी.सी.पी. पंचकूला से ये शिकायत प्राप्त हुई थी। इस पर कार्रवाई करते हुए यहां से एक पुलिस अधिकारी को इलाहाबाद भेजा गया। जहां उक्त विद्यालय एवं शिक्षा विभाग में पता करने पर पाया गया कि ये सर्टीफिकेट किसी जगतपाल पुत्र देवदत्त का है, न कि ढालुवाल के मौजूदा सरपंच जगपाल पुत्र ओमप्रकाश का। उन्होंने बताया ने बताया कि इसकी रिपोर्ट बनाकर अपने आला अधिकारियों को रिपोर्ट सौंप दी है।
 

ज्ञात रहे कोर्ट की ओर से पंचायत के चुनाव में सरपंच पद के उम्मीदवार की शिक्षण योग्यता दसवीं कर दी गई है। जो उम्मीदवार 10वीं पास नहीं होगा, वह सरपंच पद का चुनाव नहीं लड़ सकता। उक्त सरपंच पहले भी सरपंच रह चुका है। 

 

मृतकों की पैंशन हड़पने के आरोप में भी सरपंच हो चुका है सस्पैंड :

गत 2014 में गांव ढालुवाल निवासी एवं गांव के पूर्व पंच धर्मपाल की ओर से लगाई गई आर.टी.आई. में पाया गया था कि गांव के मौजूदा सरपंच जगपाल ने अपने पहले कार्यकाल में भी सरकार की ओर से मिलने वाला सम्मान भत्ता (पैंशन) को आठ मृतक लोगो जिनमे महताब सिंह, कामेश्वर, राजन लाल, तेज सिंह, शरबती देवी, नथिया देवी, शांति देवी जिनकी मौत होने के करीब डेढ़ वर्ष के बाद तक भी इनके जाली अंगूठे लगा कर पैंशन लेता रहा था। इस पर कार्रवाई करते हुए उस समय के उपायुक्त पंचकूला एच.एस. फुलिया ने उसे निलम्बित कर दिया था ।  बाद में जगपाल ने सरकारी खजाने में 83 हजार 928 रुपए भरवा दिए थे।


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