समोसा-जलेबी पर चेतावनी की खबरें फर्जी, सरकार ने कहा ये है सिर्फ सलाह, जानिए क्या है मामला

punjabkesari.in Tuesday, Jul 15, 2025 - 10:01 PM (IST)

नेशनल डेस्क : समोसे, जलेबी और लड्डू जैसे पारंपरिक भारतीय खाद्य पदार्थों को लेकर बीते दिनों मीडिया में आई खबरों पर केंद्र सरकार ने सफाई दी है। सरकार की ओर से स्पष्ट किया गया है कि इन खाद्य उत्पादों को लेकर कोई एडवाइजरी या बैन नहीं जारी किया गया है। स्वास्थ्य मंत्रालय ने केवल स्वस्थ आहार को बढ़ावा देने के उद्देश्य से सामान्य सलाह दी थी।

भारतीय पकवानों को टारगेट करने का कोई इरादा नहीं
कुछ रिपोर्ट्स में दावा किया गया था कि सरकार ने समोसा, जलेबी और लड्डू जैसे व्यंजनों को अनहेल्दी करार देते हुए उनके खिलाफ चेतावनी जारी की है। लेकिन स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा है कि ऐसा कोई निर्देश जारी नहीं किया गया और भारतीय व्यंजनों को विशेष रूप से टारगेट करने की बात पूरी तरह गलत है।

मोटापा बन रहा बड़ी चुनौती
स्वास्थ्य सचिव द्वारा जारी एक पत्र में कहा गया कि देश में खासतौर पर शहरी इलाकों में मोटापा एक गंभीर समस्या बनता जा रहा है। इसी को ध्यान में रखते हुए स्वस्थ खाने और जीवनशैली को प्रोत्साहित करने की सलाह दी गई थी, ताकि लोग अत्यधिक चीनी और वसा से परहेज करें।

PIB फैक्ट चेक ने बताया खबरों को झूठा
भारत सरकार के प्रेस इंफॉर्मेशन ब्यूरो (PIB) ने सोशल मीडिया पर फैक्ट चेक करते हुए कहा कि कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में जो दावा किया गया है कि मंत्रालय ने इन खाद्य उत्पादों पर स्वास्थ्य चेतावनी जारी की है, वह पूरी तरह से भ्रामक और झूठा है PIB ने स्पष्ट किया कि स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से दुकानों पर बिकने वाले समोसे, जलेबी जैसे उत्पादों पर कोई वॉर्निंग लेबल लगाने की सलाह नहीं दी गई है और न ही किसी विशेष व्यंजन को लेकर कोई निर्देश जारी किया गया है।

 

 

लोगों को जागरूक करना ही उद्देश्य
सरकार की यह सलाह केवल लोगों को स्वस्थ जीवनशैली के लिए प्रोत्साहित करने और खाद्य पदार्थों में छिपी वसा और अतिरिक्त चीनी के प्रभावों को लेकर जागरूक करने के लिए दी गई थी। इसका उद्देश्य भारत के स्ट्रीट फूड या पारंपरिक स्नैक्स को निशाना बनाना नहीं है।

कामकाज की जगहों पर हेल्दी विकल्प चुनने की सलाह
यह सलाह कार्यालयों और कार्यस्थलों पर लोगों को स्वस्थ विकल्प अपनाने की प्रेरणा देने के लिए जारी की गई थी, ताकि दैनिक जीवन में कम चीनी और कम तेल वाले भोजन को महत्व दिया जा सके।


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Content Editor

Shubham Anand

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