लद्दाख में किसी भी कीमत पर पीछे नहीं हटेंगे भारतीय जवान, माइनस तापमान में उपयोग किए जाने वाले विशेष टेंट खरीदेगी सेना

punjabkesari.in Monday, Jul 06, 2020 - 01:44 PM (IST)

नई दिल्ली: नियंत्रण रेखा (एलओसी) पर भारत और चीन के बीच तनाव की स्थिति बीते दो महीने से लगातार बनी हुई है। चीन की सेना गलवान घाटी के कुछ हिस्सों से तंबू हटाते और पीछे हटती दिखी है। सरकारी सूत्रों ने सोमवार को यह जानकारी दी। क्षेत्र में सैनिकों के पीछे हटने का यह पहला संकेत है। सूत्रों ने कहा कि दोनों पक्षों के कोर कमांडरों के बीच हुए समझौते के तहत चीनी सैनिकों ने पीछे हटना शुरू किया है। वहीं चीनी आक्रामकता के खिलाफ भारत ने लद्दाख क्षेत्र में अतिरिक्त 30 हजार जवानों की तैनाती की हुई है। मगर अब सेना के सामने दुश्मन के अलावा अत्यधिक ठंड से निपटने की भी चुनौती सामने है। इसी के तहत भारतीय सेना जल्द ही ऐसे टेंट खरीदने वाली है, जो जवानों को माइनस तापमान में भी ठंड से बचा सकें। 

PunjabKesari

सेना के सूत्र ने न्यूज एजेंसी एएनआई से कहा, भले ही चीनी सैनिक अपने स्थान से हट जाएं, हम भविष्य में भी नहीं हटेंगे। इसीलिए, हम पूर्वी लद्दाख सेक्टर में अत्यधिक ठंड के मौसम में रहने के लिए हजारों टेंट लगाने के आदेश देने जा रहे हैं। उन्होंने कहा, सभी सीमा पर हथियार और गोला-बारूद के अलावा हमारी आपातकालीन खरीद का प्रमुख ध्यान सैनिकों के आवास के लिए व्यवस्था कराने पर होगा। सूत्र ने कहा कि चीन ने पहले ही अपने विशेष शीतकालीन टेंट लगाना शुरू कर दिया है। भारत फिलहाल सियाचिन ग्लेशियर में समान टेंट और संरचनाएं इस्तेमाल कर रहा है। गलवान घाटी में सीमा पर तैनात सैनिकों के लिए टेंट की आवश्यकता इसलिए महसूस की जा रही है। क्योंकि वास्तविक नियंत्रण रेखा पर तैनाती लंबे समय तक होने की उम्मीद है, जैसा कि वरिष्ठ सशस्त्र बल के अधिकारियों को लगता है कि स्टैंड-ऑफ कम से कम सितंबर-अक्टूबर समय-सीमा तक जारी रहने की संभावना है। 

PunjabKesari
20 भारतीय सैनिक हो गए थे शहीद
गलवान घाटी में 15 जून को हुई हिंसक झड़प के बाद तनाव कई गुणा बढ़ गया था जिसमें 20 भारतीय सैनिक शहीद हो गए थे। चीन के सैनिक भी इस झड़प में हताहत हुए थे लेकिन उसने अब तक इसके ब्योरे उपलब्ध नहीं कराए हैं। भारत क्षेत्र में शांति बनाए रखने के लिए पूर्वी लद्दाख के सभी इलाकों में पूर्व यथास्थिति बहाल करने पर जोर देता आया है। क्षेत्र में तनाव को कम करने के लिए भारत और चीन के बीच कई चरणों की कूटनीतिक एवं सैन्य वार्ताएं हुई हैं। हालांकि, दोनों पक्षों के क्षेत्र से बलों को पीछे हटाने की प्रक्रिया शुरू करने पर सहमत होने के बावजूद गतिरोध समाप्त होने के कोई संकेत नजर नहीं आ रहे थे। 

PunjabKesari


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Edited By

Anil dev

Recommended News

Related News