70-80 लाख खर्च कर, खतरनाक ''डंकी रूट'' से अमेरिका पहुंचने की जंग... जान जोखिम में डाल रहे भारतीय

punjabkesari.in Friday, Feb 07, 2025 - 09:25 AM (IST)

नेशनल डेस्क: भारत से अमेरिका जाने का सपना देखने वाले लोग अवैध मार्गों का उपयोग कर रहे हैं, जिनमें से एक प्रमुख मार्ग ‘डंकी रूट’ है। यह एक बेहद खतरनाक और अवैध तरीका बन चुका है, जिसके जरिए हजारों भारतीय हर साल अमेरिका पहुंचने की कोशिश करते हैं। डंकी रूट के जरिए लोग भारी रकम खर्च करते हैं और अपनी जान जोखिम में डालते हैं। इस यात्रा में उन्हें कई देशों की सीमाएं पार करनी होती हैं, और रास्ते में उन्हें ठगी, शोषण, भयानक मौसम, भूख, बीमारी और कभी-कभी मौत का सामना करना पड़ता है। 

डंकी रूट के प्रमुख मार्ग

1. कनाडा के रास्ते अमेरिका
इस रूट के तहत लोग भारत से कनाडा पहुंचते हैं और फिर वहां से अमेरिकी सीमा के पास पहुंचते हैं। एजेंट्स उन्हें फर्जी विश्वविद्यालय एडमिशन और वर्क परमिट दिलवाते हैं और इसके बदले में वे 80 लाख रुपये तक वसूलते हैं। फिर ये लोग अमेरिका में अवैध तरीके से प्रवेश करने की कोशिश करते हैं। यह रास्ता बहुत ही जोखिम भरा है क्योंकि अमेरिकी सीमा की सुरक्षा बहुत कड़ी होती है और इस रास्ते से पकड़े जाने की संभावना अधिक होती है।

2. तुर्की, मेक्सिको और अमेरिका
इस रूट के तहत लोग पहले तुर्की जाते हैं और वहां 90 दिनों तक रुकते हैं। इसके बाद वे मेक्सिको पहुंचते हैं और फिर पैदल चलकर अमेरिका की सीमा पार करने की कोशिश करते हैं। इस रास्ते में भी भारी जोखिम होता है और इसे अपनाने वाले लोगों को करीब 80-90 लाख रुपये खर्च करने पड़ते हैं। तुर्की से मेक्सिको तक का सफर कठिन है और इसमें कई मुश्किलों का सामना करना पड़ता है।

3. अफ्रीका और लैटिन अमेरिका होते हुए अमेरिका
यह रूट एक और बेहद खतरनाक मार्ग है, जिसमें लोग अफ्रीका से होते हुए लैटिन अमेरिका पहुंचते हैं और फिर मेक्सिको के रास्ते अमेरिका की सीमा पर पहुंचने की कोशिश करते हैं। इस रूट में भी लगभग 70-75 लाख रुपये का खर्च आता है। लोग इस यात्रा के दौरान जंगलों और अन्य खतरनाक इलाकों से गुजरते हैं, जहां उन्हें न सिर्फ शारीरिक कष्ट सहना पड़ता है, बल्कि कई बार इस यात्रा में लोग मारे भी जाते हैं।

स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं का होते हैं शिकार 
डंकी रूट अपनाने वाले लोग जीवन के कई कठिन मोड़ों से गुजरते हैं। इस रास्ते में लोगों को जंगलों में रात बितानी पड़ती है, कीचड़ में फंसने का सामना करना पड़ता है और कई बार उन्हें नदियों के पार भी करना होता है। इस यात्रा के दौरान लोग भयंकर गर्मी और बारिश का सामना करते हैं और कई बार स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं का शिकार होते हैं। आकाश नामक व्यक्ति ने पनामा के जंगलों से अमेरिका पहुंचने का अपना अनुभव साझा किया। वह पनामा के जंगलों में कीचड़ से जूझते हुए, बारिश में टेंट लगाकर सोते थे और कई बार वे मौत के करीब पहुंच चुके थे। आकाश के अनुभव में दिखाया गया है कि इस रास्ते पर जाने वाले लोग न सिर्फ शारीरिक कष्टों से गुजरते हैं, बल्कि मानसिक रूप से भी बेहद कमजोर हो जाते हैं।

अमेरिका जाने के लिए 32 लाख रुपये किए खर्च 
अमेरिका जाने के लिए लोग भारी रकम खर्च करते हैं। आकाश के परिवार ने उसके अमेरिका जाने के लिए 73 लाख रुपये खर्च किए, जो उन्होंने अपने घर की ज़मीन बेचकर और कर्ज लेकर जुटाए थे। यही नहीं, कई लोग तो इस यात्रा के लिए कर्ज भी लेते हैं और अपने परिवार की वित्तीय स्थिति को खतरे में डालते हैं। अंकित नामक एक युवक ने बताया कि उसने अमेरिका जाने के लिए 32 लाख रुपये खर्च किए और इस दौरान उसे न सिर्फ ठगी का सामना करना पड़ा, बल्कि वह भारी कर्ज में भी डूब गया। 

क्या है 'डंकी रूट'?
'डंकी रूट' शब्द पंजाब के 'डुंकी' शब्द से आया है, जिसका अर्थ होता है एक जगह से दूसरी जगह कूदना। यह सफर बेहद लंबा और कठिन होता है, जिसमें महीनों लग सकते हैं। इसमें लोग अवैध तरीके से विभिन्न देशों से होते हुए अपनी मंजिल तक पहुंचने की कोशिश करते हैं। इस रास्ते में वे ट्रकों, विमानों या नावों का इस्तेमाल करते हैं, लेकिन अधिकतर लोग पैदल चलकर यात्रा करते हैं। यात्रा के दौरान उन्हें कई बार बुरे मौसम, भूख, बीमारी, शोषण और खतरे का सामना करना पड़ता है। 

क्यों लोग डंकी रूट अपनाते हैं?
अमेरिका में बसने का सपना हजारों भारतीयों का है, और इसे पूरा करने के लिए वे किसी भी तरीके को अपनाने को तैयार हो जाते हैं। इन लोगों को लगता है कि अमेरिका में बसने से वे जल्दी पैसा कमा सकते हैं, और इसी उम्मीद में वे अपनी जिंदगी और भविष्य को जोखिम में डाल देते हैं। हालांकि, ये रास्ते उन्हें सिर्फ कठिनाइयों और शोषण के अलावा कुछ नहीं देते। हालांकि इस रास्ते से जाने के बाद अमेरिका पहुंचने वाले कुछ लोग अपनी किस्मत बदलने की कोशिश करते हैं, लेकिन अधिकांश को वापस भारत भेज दिया जाता है, और वे अपनी पूरी जिंदगी के खर्चों को खो देते हैं। इन लोगों की कहानियां यह बताती हैं कि यह रास्ता केवल भ्रामक है और इसकी वजह से न सिर्फ शारीरिक और मानसिक नुकसान होता है, बल्कि वित्तीय नुकसान भी बेहद बड़ा होता है। 


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Content Editor

Mahima

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