डिजिटल भारत की बड़ी छलांग: 6.39 करोड़ ग्रामीण प्रशिक्षित, लाखों युवा AI और साइबर सुरक्षा में हुए साक्षर

punjabkesari.in Thursday, Jul 31, 2025 - 02:24 PM (IST)

नेशनल डेस्क: डिजिटल युग में जब सारी दुनिया तकनीक की ओर तेज़ी से बढ़ रही है तब भारत भी पीछे नहीं है। खासकर ग्रामीण और छोटे शहरों के युवाओं को तकनीकी रूप से सशक्त बनाने के लिए सरकार ने कई योजनाएं चलाई हैं। इन योजनाओं के माध्यम से न सिर्फ डिजिटल साक्षरता को बढ़ावा दिया गया है बल्कि कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI), साइबर सुरक्षा, रोबोटिक्स और 3D प्रिंटिंग जैसी उभरती तकनीकों में भी युवाओं को प्रशिक्षण दिया जा रहा है। यह सारी पहल भारत को वैश्विक डिजिटल शक्ति बनाने की दिशा में अहम कदम हैं।

PMGDISHA के माध्यम से डिजिटल साक्षरता लक्ष्य पार

सरकार द्वारा चलाई जा रही प्रधानमंत्री ग्रामीण डिजिटल साक्षरता अभियान (PMGDISHA) के तहत अब तक 6.39 करोड़ ग्रामीण लोगों को डिजिटल साक्षरता प्रशिक्षण दिया जा चुका है। यह संख्या 6 करोड़ के निर्धारित लक्ष्य से अधिक है जो दर्शाता है कि भारत का ग्रामीण समाज भी डिजिटल युग को आत्मसात कर रहा है। PMGDISHA का उद्देश्य उन लोगों को डिजिटल तकनीक से परिचित कराना है जो पहले कंप्यूटर या स्मार्टफोन से दूर थे। अब ये लोग डिजिटल सेवाओं का लाभ उठा पा रहे हैं जैसे ऑनलाइन बैंकिंग, ई-गवर्नेंस, ऑनलाइन शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाएं।

FutureSkills PRIME: उभरती तकनीकों में कौशल प्रशिक्षण

सरकार ने NASSCOM के साथ साझेदारी में FutureSkills PRIME प्रोग्राम शुरू किया है जिसके तहत अब तक 22.79 लाख उम्मीदवारों का नामांकन हो चुका है। यह प्रोग्राम खासतौर पर AI, साइबर सुरक्षा, रोबोटिक्स, 3D प्रिंटिंग और अन्य आधुनिक तकनीकी क्षेत्रों पर केंद्रित है। इसका उद्देश्य युवाओं को भविष्य की नौकरियों के लिए तैयार करना है। तकनीकी ज्ञान के साथ-साथ यह प्रोग्राम उन्हें डिजिटल अर्थव्यवस्था का हिस्सा बनने का अवसर भी देता है।

YUVAi: स्कूली छात्रों में AI की समझ

YUVAi प्रोग्राम एक अनोखी पहल है जो कक्षा 8 से 12 तक के छात्रों को कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) के बारे में सिखाता है। यह प्रोग्राम कृषि, स्वास्थ्य सेवा, शिक्षा, पर्यावरण, स्मार्ट सिटी और ग्रामीण विकास जैसे 8 विषयों पर आधारित है। इसका मकसद है बच्चों में तकनीकी सोच विकसित करना और उन्हें भविष्य के लिए तैयार करना।
राष्ट्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी संस्थान (NIELIT) ने पिछले 5 वर्षों में 43.6 लाख से अधिक युवाओं को प्रशिक्षित या प्रमाणित किया है। इसमें AI, ब्लॉकचेन और साइबर सुरक्षा जैसे विषयों पर खास ध्यान दिया गया है। यह पहल खासकर ग्रामीण और छोटे शहरों के युवाओं को ध्यान में रखते हुए शुरू की गई है ताकि वे भी तकनीकी क्रांति का हिस्सा बन सकें।

ईएसडीएम क्षेत्र में रोजगार उन्मुख प्रशिक्षण

इलेक्ट्रॉनिक्स सिस्टम डिज़ाइन और मैन्युफैक्चरिंग (ईएसडीएम) क्षेत्र में सरकार ने दो समर्पित योजनाओं के माध्यम से 4.93 लाख युवाओं को प्रशिक्षण दिया है। इनमें से 3.75 लाख को प्रमाणित किया गया है और 1.38 लाख को प्रासंगिक नौकरियों में नियुक्त किया गया है। इस क्षेत्र में कौशल विकास से न सिर्फ युवाओं को रोजगार मिल रहा है बल्कि भारत की मैन्युफैक्चरिंग क्षमताओं को भी मजबूती मिल रही है।

IndiaAI मिशन: वैश्विक मंच पर भारत की मजबूत उपस्थिति

IndiaAI मिशन, जो मार्च 2024 में शुरू हुआ, का उद्देश्य भारत को कृत्रिम बुद्धिमत्ता में वैश्विक अग्रणी बनाना है। GitHub पर AI से जुड़ी परियोजनाओं में भारत दूसरा सबसे बड़ा योगदानकर्ता है। यह मिशन देश में समावेशी और लोकतांत्रिक एआई पारिस्थितिकी तंत्र तैयार कर रहा है जिससे हर वर्ग को लाभ मिल सके।

स्टार्टअप्स के लिए समर्थन और नवाचार केंद्र

MeitY द्वारा शुरू की गई योजनाएं जैसे TIDE 2.0 और MeitY स्टार्टअप हब (MSH) नवाचार और स्टार्टअप्स को मेंटोरशिप, फंडिंग और इनक्यूबेशन का समर्थन प्रदान करती हैं। इसके अतिरिक्त उभरती तकनीकों में उत्कृष्टता केंद्र (CoEs) के माध्यम से स्टार्टअप्स को उच्च स्तरीय बुनियादी ढांचे और संसाधनों तक पहुंच मिल रही है।

प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना (PMKVY) का योगदान

कौशल भारत मिशन और प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना (PMKVY) के तहत सरकार लगातार अल्पकालिक पाठ्यक्रम चला रही है। PMKVY के तहत अब तक 25.77 लाख युवाओं को प्रशिक्षण और 15.39 लाख को प्रमाणन दिया गया है, खासकर एआई और साइबर सुरक्षा जैसे आधुनिक क्षेत्रों में।

अटल नवाचार मिशन: राज्यों के साथ मिलकर नवाचार को बढ़ावा

नीति आयोग द्वारा संचालित अटल नवाचार मिशन (AIM) राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के साथ मिलकर स्थानीय नवाचार पारिस्थितिकी तंत्र को मज़बूत कर रहा है। इसका उद्देश्य है कि हर क्षेत्र में नवाचार की संस्कृति विकसित हो और भारत तकनीकी क्षेत्र में आत्मनिर्भर बन सके।


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Content Editor

Ashutosh Chaubey

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