पंचायत चुनावों और जिला परिषद में हार के डर से मोबाईल और टेबलेट रुपी रेवडिय़ां बांटने का काम कर रही है जजपा

punjabkesari.in Friday, Jul 29, 2022 - 08:56 PM (IST)

 पंचकूला,29 जुलाई। (अर्चना सेठी) आम आदमी पार्टी का कहना है कि पिछले करीब तीन सालों से भाजपा के साथ रहते हुए जजपा पर भी उसका रंग चढ़ गया है और वह जमा जूठी पार्टी बन गई है। यही वजह है कि उसे पिछले करीब तीन सालों से जनता के नंबरदारों को मोबाईल देने की याद नहीं आई। अब जबकि पंचायत और जिला परिषदों के चुनाव सिर पर हैं तो वह रेवडिय़ों की तरहत से मोबाईल बांटने और टेबलेट बांटने की बातें कर रही है।

 

 आज यहां जारी एक ब्यान में आप के उत्तरी हरियाणा जोन के सचिव योगेश्वर शर्मा ने कहा कि उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला का यह कहना कि सरकार का मकसद नंबरदारों का रेवड़ी तरह मोबाईल बांटना नहीं, बल्कि नई टैक्रोलोजी से जोडऩा है, अपने आप में एक मजाक है। उन्होंने कहा कि उप मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला को यह बताना चाहिए कि क्या मोबाईल फोन की टैक्रनोलोजी अभी आई है, जो वे नंबरदारों का फोन देते हुए इसे रेवडिय़ा नहीं बता रहे हैं। क्योंकि हरियाणा में उनकी भागेदारी से सरकार बने करीब करीब तीन साल हो रहे हैं।

 

यह मोबाईल और पटवारियों को टैबलेट शुरु में ही दिए जा सकते थे। उन्होंने कहा कि दरअसल उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला द्वारा इन रेवडिय़ों क ो बांटने के पीछे उनका एक मकसद है। क्योंकि हककीत क्या है, वह भी जान गये हैं। प्रदेश में भाजपा के साथ साथ जजपा का भी ग्राफ पूरी तरह से नीचे आ चुका है।  उन्होंने कहा कि दोनों ही दलों ने चुनावों के समय प्रदेश की जनता से झूइे वायदे करके वोट लिए और उसके बाद जनता से किया गया एक भी वायदा आज तक पूरा नहीं किया है। जिसके चलते प्रदेश की जनता खासकर युवा वर्ग सत्तारुढ गठबंधन से पूरी तरह से नाराज चल रहा है। आने वाले पंचायती व जिला परिषद के चुनावों और फिर विधानसभा चुनावों में राज्य के लोग इन दोनों ही दलों को चलता कर देने का मन बनाये बैठे हैं।  इसी डर के चलते अब दुष्यंत मोबाईल फोन और टेबलेट रुपी रेवडिय़ा बांटने का काम कर रहे हैं। मगर हकीकत इन्हें चुनावों के वक्त पता चलेगी जब लोगे इन पर वोट की चोट करेंगे। उन्होंने कहा कि प्रदेश के लोगों में बेरोजगारी,महंगाई,भ्रष्टाचार और अपराध के दिन प्रतिदिन बढते जा रहे ग्राफ के चलते इस सरकार से नाराजगी बढ़ती जा रही है और इसका खमियाजा तो इन दोनों ही दलों को भुगतना पड़ेगा।


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News Editor

Archna Sethi

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