पाकिस्तान में बढ़ी सियासी हलचल: प्रधानमंत्री-सेना प्रमुख मुलाकातों से तख्तापलट की अटकलें तेज

punjabkesari.in Wednesday, Jul 16, 2025 - 06:00 PM (IST)

Islamabad: पाकिस्तान के शीर्ष असैन्य और सैन्य नेतृत्व के बीच हाल में हुई बैठक ने एक बार फिर देश के राजनीतिक परिदृश्य में संभावित बदलाव की अफवाहों को हवा दे दी है तथा ऐसी अटकलें हैं कि सेना प्रमुख संभवतः अगला राष्ट्रपति बनने की आकांक्षा रखते हैं। प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने पिछले सप्ताह इन अफवाहों को खारिज कर दिया था कि राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी को पद छोड़ने के लिए मजबूर किया जा सकता है और सेना प्रमुख फील्ड मार्शल आसिम मुनीर उनका पदभार ग्रहण करेंगे। ‘एक्सप्रेस ट्रिब्यून' की खबर के अनुसार इस संबंध में अफवाहों का यह नया दौर तब शुरू हुआ जब फील्ड मार्शल मुनीर ने मंगलवार को प्रधानमंत्री आवास पर शरीफ से मुलाकात की, जिसके कुछ ही देर बाद शरीफ ने राष्ट्रपति भवन में जरदारी से मुलाकात की।

 

खबर के अनुसार उच्च स्तरीय बैठकें संभावित 27वें संविधान संशोधन के बारे में बढ़ती अटकलों के बीच हुई हैं कि जरदारी अपने उत्तराधिकारी के लिए रास्ता बनाने के वास्ते पद छोड़ सकते हैं। रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने कहा कि अटकलें ‘‘निराधार'' हैं, लेकिन उन्होंने पुष्टि की कि राष्ट्रपति के इस्तीफे और सेना प्रमुख द्वारा उनके स्थान पर संभावित नियुक्ति के बारे में मीडिया रिपोर्टों का मुद्दा वास्तव में जरदारी और शरीफ के बीच बैठक के दौरान उठा था। इससे पहले शरीफ ने 11 जुलाई को उन अफवाहों को सिरे से खारिज कर दिया था कि जरदारी को पद छोड़ने के लिए मजबूर किया जा सकता है और मुनीर राष्ट्रपति पद संभालने की आकांक्षा रखते हैं। शरीफ ने कहा था कि ऐसे दावे महज अटकलें हैं। शरीफ ने ‘द न्यूज' से कहा था, ‘‘फील्ड मार्शल मुनीर ने कभी भी राष्ट्रपति बनने की इच्छा नहीं जताई है और न ही ऐसी कोई योजना है।''

 

शरीफ के इस स्पष्टीकरण से पहले गृह मंत्री मोहसिन नकवी ने 10 जुलाई को ‘एक्स' पर एक बयान में जरदारी, शरीफ और मुनीर को निशाना बनाकर चलाए जा रहे ‘‘दुर्भावनापूर्ण अभियान'' की निंदा की थी। शीर्ष सैन्य नेतृत्व के करीबी माने जाने वाले नकवी ने कहा था, ‘‘हम अच्छी तरह से जानते हैं कि इस दुर्भावनापूर्ण अभियान के पीछे कौन है।'' देश की सत्ता और राजनीतिक संरचना में संभावित बदलाव के बारे में तीव्र अटकलों के बीच रक्षा मंत्री ने बुधवार को सभी अटकलों को स्पष्ट रूप से खारिज कर दिया और कहा कि जरदारी को घटनाक्रम के बारे में जानकारी दी गई है और उन्होंने सरकार और वर्तमान राजनीतिक व्यवस्था में ‘‘पूर्ण विश्वास'' दिखाया है। आसिफ ने ‘द एक्सप्रेस ट्रिब्यून' से कहा, ‘‘राष्ट्रपति इस मुद्दे से पूरी तरह अवगत थे और उन्होंने सरकार पर पूरा भरोसा जताया।'' उन्होंने कहा शरीफ ने जरदारी को इस अपुष्ट खबर और उसके बाद के घटनाक्रम के बारे में जानकारी दी।

 

आसिफ ने इस बात की पुष्टि की प्रधानमंत्री के नेतृत्व वाले प्रतिनिधिमंडल के जरदारी से मिलने से पहले शरीफ ने फील्ड मार्शल के साथ बैठक की थी। उन्होंने कहा कि इसमें कुछ भी असामान्य नहीं है, क्योंकि प्रधानमंत्री और फील्ड मार्शल विभिन्न मुद्दों पर चर्चा के लिए नियमित रूप से सप्ताह में तीन बार मिलते हैं। आसिफ ने दावा किया, ‘‘सेना प्रमुख की राजनीति में कोई रुचि नहीं है।'' रक्षा मंत्री ने कहा कि सेना प्रमुख पहले से ही सेना में सर्वोच्च पद पर हैं और भारत के साथ पाकिस्तान के हाल के संघर्ष के बाद उन्हें काफी सम्मान मिला है।  


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Content Writer

Tanuja

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