‘साउथ एशियन्स फॉर बाइडेन’ ने जॉर्ज फ्लॉयड और उसके परिवार के लिए न्याय की मांग की

punjabkesari.in Tuesday, Jun 02, 2020 - 04:07 PM (IST)

वाशिंगटन, दो जून (भाषा) पूर्व उपराष्ट्रपति जो बाइडेन का समर्थन करने वाले स्वयंसेवी संगठन ‘साउथ एशियन्स फॉर बाइडेन’ ने अफ्रीकी-अमेरिकी समुदाय के साथ एकजुटता दर्शाते हुए जॉर्ज फ्लॉयड और उनके परिवार के लिए न्याय की मांग की है।

रेस्तरां में काम करने वाले अफ्रीकी-अमेरिकी समुदाय के 46 वर्षीय फ्लॉयड की मिनियापोलिस में सोमवार को मौत हो गई थी । एक श्वेत पुलिस कर्मी ने उन्हें जमीन पर गिरा कर घुटने से उनका गला दबा दिया था। वीडियो फुटेज में देखा जा सकता है कि पुलिस कर्मी ने फ्लॉयड की गर्दन को घुटने से दबा रखा है और फ्लॉयड को सांस लेने में तकलीफ हो रही है।

इस घटना के बाद अमेरिका में विरोध के स्वर मुखर हो उठे हैं।

साउथ एशियंस फॉर बाइडेन (एसएबी) की राष्ट्रीय निदेशक नेहा दीवान ने कहा, ‘‘साउथ एशियंस फॉर बाइडेन अफ्रीकी-अमेरिकी समुदाय के साथ मजबूती से खड़े होकर जॉर्ज फ्लॉयड और उनके परिवार के लिए न्याय की मांग करते हैं।’’ उन्होंने कहा कि विशेषकर अश्वेत समुदाय के लोगों को कानून के प्रवर्तन और न्याय प्रणाली में जड़ें जमाए बैठे नस्लवाद का सामना करना पड़ता है जिसका परिणाम, अत्याधिक यातना, चोट और कभी-कभी मौत भी हो जाती है।

अहमुद एर्बी, ब्रायो टेलर, फ्लॉयड और कई अन्य जो अन्याय के शिकार हुए हैं इन घटनाओं के मद्देनजर यह स्पष्ट है कि अमेरिका को अब पहले से कहीं अधिक एक ऐसे नेता की आवश्यकता है जो देश को एकजुट कर सके।

दीवान ने कहा, ‘‘कल, जब राष्ट्रपति ट्रम्प हमारे देश को संबोधित करने के बजाय अपने बंकर में छिप गए थे । उपराष्ट्रपति बाइडेन ने प्रदर्शनकारियों से मुलाकात की और देश को नस्लीय और सामाजिक न्याय के खिलाफ चलाए जा रहे एजेंडा के खिलाफ एकजुट होने का आग्रह किया।” बाइडेन फॉर प्रेसिडेंट और एशियन अमेरिकन पैसिफिक आईलैंडर (एएपीआई) लीडरशिप काउंसिल के राष्ट्रीय वित्तीय समिति सदस्य अजय जैन भूतोरिया ने कहा कि फ्लॉयड की दिनदहाड़े हत्या के खिलाफ प्रदर्शन करना सही और आवश्यक है।

उन्होंने कहा,‘‘यह पूरी तरह से मानवीय प्रतिक्रिया है। साथ ही विरोध के नाम पर छोटे व्यवसायों को जलाना, दुकानों को लूटना और अनावश्यक विनाश का समर्थन नहीं होना चाहिए।’’ भूतोरिया ने एक बयान में कहा कि हिंसा, लूटपाट में लिप्त इन लोगों के लिए आज महात्मा गांधी और मार्टिन लूथर किंग जूनियर के संदेश बहुत प्रासंगिक हैं।

‘‘संयुक्त राज्य अमेरिका और दुनिया भर में प्रदर्शनकारी गांधीजी और मार्टिन लूथर किंग की विरोध करने की कला से सबक सीख सकते हैं। दोनों ने बहुत शांतिपूर्ण विरोध किया और अन्याय से लड़ने में प्रभावी रहे।’’ उन्होंने कहा, ‘‘एक भारतीय-अमेरिकी के नाते मैं दृढ़ता से अश्वेत अमेरिकियों के साथ खड़ा हूं और अन्याय और नस्लवाद के खिलाफ लड़ाई में उनके साथ हूं।’’ फ्लॉयड की मौत के खिलाफ हिंसक प्रदर्शनों की आग अमेरिका के 140 शहरों तक पहुंच गई है, जिसे देश में पिछले कई दशकों में सबसे खराब नागरिक अशांति माना जा रहा है।



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PTI News Agency

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