दिल्ली बंद से 3500 करोड़ का नुकसान, कल से खुलेंगे बाजार

punjabkesari.in Saturday, Feb 03, 2018 - 03:51 PM (IST)

नई दिल्लीः दिल्ली में हो रही सीलिंग के विरोध में कॉन्फ़ेडरेशन ऑफ़ आल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) का 48 घंटे का दिल्ली व्यापार बंद के तहत आज भी अधिकांश थोक एवं रिटेल बाजार बंद रहे और इससे 3500 करोड़ रुपए के कारोबार का तथा सरकार को 300 करोड़ रुपए के राजस्व का नुकसान होने का दावा किया गया है। कैट ने आज जारी बयान में कहा कि सभी थोक और खुदरा बाजाार बंद रहे और कोई कारोबारी गतिविधि नहीं हुई।

पूरे देश से आए 100 से अधिक व्यापारी नेताओं ने दिल्ली के व्यापारियों के साथ मिलकर लालकिले से टाउन हॉल चांदनी चौक तक एक विरोध मार्च निकाला और बाद में टाउन हॉल पर धरने में शामिल हुए। दिल्ली के विभिन्न बाजारों में आज भी विरोध मार्च, प्रदर्शन, धरने आदि करके व्यापारियों ने अपना रोष जताया। कैट ने दावा किया कि 48 घंटे के इस बंद में लगभग 3500 करोड़ रुपए के व्यापार का नुकसान हुआ जिसके चलते सरकार को लगभग 300 करोड़ रुपए के राजस्व की हानि हुई है।

कैट के राष्ट्रीय महामंत्री प्रवीन खंडेलवाल ने दिल्ली विकास प्राधिकरण (डीडीए) के सीलिंग से बचाने के लिए मास्टर प्लान में संशोधन के प्रस्तावों की सराहना करते हुए कहा की एक बार अमल में लाने के बाद व्यापारियों को इनसे राहत मिलने की उम्मीद है लेकिन कुछ महत्वपूर्ण मुद्दे अभी भी रह गए हैं जिन पर ध्यान देना जरूरी है। उन्होंने कल से दिल्ली में बाजार खुले रहने की घोषणा की है। इस सम्बन्ध में कैट ने आज केंद्रीय शहरी विकास मंत्री हरदीप पूरी को एक 12  सूत्री ज्ञापन भेजा है। इसमें कहा गया है कि स्पेशल एरिया में री-डेवलपमेंट प्लान बनने तक किसी प्रकार का दंडात्मक कार्रवाई नहीं की जाए और न ही सीलिंग हो। जो एलएसी 1998 में घोषित हुई थी उनसे 1998 में जो चार्ज था वही वसूला जाए। एलएससी में प्लाट साइज 175 मीटर के स्थान पर 250 मीटर किया जाए। एफएआर को नियमित एवं उसमे इजाफा करने के लिए पार्किंग के शर्त को हटाया जाए। ग्रेटर कैलाश , साउथ एक्सटेंशन एवं ग्रीन पार्क को भी डीएलएफ ने बनाया था लिहाजा इन कॉलोनियों को भी पुनर्वास कॉलोनी की सूची में शामिल किया जाए। बेसमेंट का कमर्शियल यूका मिक्स्ड लैंड स्ट्रीट एवं पेडेस्ट्रियन स्ट्रीट पर भी लागू किया जाए। जिन लोगों ने 10 साल तक का कन्वर्जन शुल्क दे दिया है उनसे अब और शुल्क नहीं लिया जाए।


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Recommended News

Related News