Cough Medicines Banned: सरकार ने खांसी की इन दवाओं पर लगाया बैन, बच्चों के लिए बनी जानलेवा!
punjabkesari.in Saturday, Apr 19, 2025 - 10:35 AM (IST)

नेशनल डेस्क: भारत सरकार ने बच्चों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए एक बड़ा कदम उठाया है। अब 4 साल से कम उम्र के बच्चों को कुछ कफ सिरप देना पूरी तरह बैन कर दिया गया है। सरकार का कहना है कि इन दवाओं से छोटे बच्चों की जान को गंभीर खतरा हो सकता है।
कब आया ये फैसला?
यह निर्णय 15 अप्रैल 2025 को जारी अधिसूचना के तहत लिया गया है। इसके तहत सरकार ने दवा कंपनियों को निर्देश दिया है कि वे अब अपने उत्पादों की पैकिंग और लेबल पर साफ-साफ चेतावनी दें कि "यह दवा 4 साल से कम उम्र के बच्चों के लिए नहीं है।"
कौन-कौन सी दवाएं हुईं बैन?
सरकार ने खासतौर पर उन कफ सिरप पर रोक लगाई है जिनमें क्लोरफेनिरामाइन मेलिएट (Chlorpheniramine Maleate) और फिनाइलफ्राइन हाइड्रोक्लोराइड (Phenylephrine Hydrochloride) का मिश्रण मौजूद होता है। ये दोनों दवाएं आमतौर पर सर्दी, खांसी और एलर्जी के इलाज में इस्तेमाल होती हैं।
क्यों खतरनाक हैं ये दवाएं?
इन दवाओं के सेवन से बच्चों को कई गंभीर स्वास्थ्य समस्याएं हो सकती हैं:
-
तेज़ बुखार
-
मिर्गी (Seizures)
-
बेहोशी या कोमा
-
गंभीर एलर्जी
-
और कई मामलों में मौत का खतरा भी
छोटे बच्चों की शारीरिक बनावट और उनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता इन दवाओं को सहन नहीं कर पाती, जिससे दुष्परिणाम हो सकते हैं।
किन ब्रांड्स पर पड़ा असर?
सरकार के इस फैसले का असर कई बड़े और लोकप्रिय दवा ब्रांड्स पर पड़ा है। जैसे:
-
एस्कोरिल फ्लू ड्रॉप (Ascoril Flu Drop)
-
एलेक्स सिरप (Alex - Glenmark)
-
टी-मिनिक (T-Minic - Helion)
-
मैक्सट्रा ड्रॉप्स (Maxtra - Juventus Healthcare)
इन सभी कंपनियों को अब अपने दवाओं की बोतलों पर चेतावनी लेबल लगाना अनिवार्य कर दिया गया है।
क्या करती हैं ये दवाएं?
क्लोरफेनिरामाइन मेलिएट: यह एक एंटीहिस्टामिन होता है जो एलर्जी के लक्षणों जैसे छींकना, आंखों में पानी, और बहती नाक को कम करता है।
फिनाइलफ्राइन हाइड्रोक्लोराइड: यह एक नाक की सूजन कम करने वाली दवा है जो बंद नाक खोलने में मदद करती है।
हालांकि ये दवाएं वयस्कों के लिए असरदार हो सकती हैं लेकिन बच्चों पर इनका असर उल्टा पड़ सकता है।
डॉक्टर्स की सलाह क्या है?
डॉक्टर्स का कहना है कि छोटे बच्चों को कोई भी दवा देने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें। अक्सर माता-पिता बिना डॉक्टर से पूछे OTC (ओवर-द-काउंटर) दवाएं बच्चों को दे देते हैं जो खतरनाक हो सकता है।
अब क्या होगा?
सरकार के निर्देशों के मुताबिक:
-
सभी दवा कंपनियों को रेगुलेटरी बॉडी के निर्देश का पालन करना होगा
-
दवाओं के लेबल पर साफ शब्दों में चेतावनी लिखनी होगी
-
जो कंपनियां नियमों का उल्लंघन करेंगी, उन पर कानूनी कार्रवाई की जा सकती है
माता-पिता के लिए जरूरी चेतावनी
अगर आपके घर में 4 साल से कम उम्र के बच्चे हैं तो:
किसी भी दवा से पहले डॉक्टर से सलाह लें
पुराने प्रिस्क्रिप्शन का इस्तेमाल न करें
दवा का लेबल जरूर पढ़ें
सर्दी-खांसी से बचाव के घरेलू उपाय अपनाएं जैसे भाप, हल्दी दूध, गुनगुना पानी