राज्यसभा उपसभापति चुनावः गैर कांग्रेसी नेता को मिले ज्यादा वोट, विपक्षी एकता पर फिर उठे सवाल
punjabkesari.in Thursday, Aug 09, 2018 - 07:59 PM (IST)
नेशनल डेस्कः उपसभापति चुनाव में एनडीए के उम्मीदवार हरिवंश की जीत के बाद विपक्ष की एकता पर एक बार फिर सवाल उठने लगे हैं। अधिकतर विपक्षी दलों का लगता है कि कांग्रेस अपने उम्मीदवार की बजाय किसी अन्य पार्टी के उम्मीदवार को आगे करती तो शायद उसे अधिक वोट मिल सकते थे। हालांकि उपसभापति पद पर एनडीए के उम्मीदवार हरिवंश की जीत के बाद भी विपक्ष यह दिखाने की कोशिश में है कि उसकी एकता में कोई दरार नहीं आई है। विपक्ष लगातार एकजुटता दिखाने की प्रयास कर रहा है। लेकिन पहले अविश्वास प्रस्ताव और अब उपसभापति चुनाव के बाद संसद के गलियारों में एक नई चर्चा शुरू हो गई है।
विपक्ष के कुछ नेताओं ने सवाल उठाते हुए कहा कि बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने जिस तरह बीजू जनता दल (बीजेडी) और टीआरएस से संपर्क साधा। उस तरह राहुल गांधी ने भी अपने उम्मीदवार के लिए आप जैसी पार्टियों से संपर्क क्यों नहीं किया। इसके अलावा कुछ नेताओं का यह भी मानना है कि विपक्ष के उम्मीदवार के रूप में कांग्रेस का चेहरा होने से ऐसे दलों को वोट मिलने के चांस कम हुए जो बीजेपी या कांग्रेस के साथ नहीं दिखना चाहते।
टीएमसी नेता डेरेक ओ ब्रायन ने कहा कि हम बीजेपी और एनडीए के खिलाफ अब भी एकजुट हैं। उन्होंने कहा कि आज का परिणाम सरकार की बेचैनी को दिखाता है। एनडीए उम्मीदवार को वोट दिलाने के लिए प्रधानमंत्री को स्वयं फोन करना पड़ा। ब्रायन ने कहा कि निश्चित तौर पर यह चुनाव हमारे लिए दुनिया का अंत होना बाकी नहीं है। ये केवल विश्वकप से पहले का वार्मअप मैच है।
बता दें कि उपसभापति के चुनाव में एनडीए के उम्मीदवार हरिवंश सिंह को विपक्ष के उम्मीदवार हरिप्रसाद 105 के मुकाबले 125 मत मिले। विपक्ष के एक सीनियर नेता ने कहा कि अगर कांग्रेस ने किसी गैर कांग्रेसी या टीडीपी या किसी अन्य विपक्षी दल के नेता को उम्मीदवार बनाया होता तो ज्यादा वोट मिल सकते थे। विपक्ष को उम्मीद थी कि कांग्रेस इस चुनाव कि लिए किसी गैर कांग्रेसी सांसद के नाम को आगे करेगी जो कि उसने नहीं किया।
अधिकतर गैर कांग्रेसी पार्टियों के नेताओं का कहना था कि अगर राहुल गांधी फोन कर देते तो आम आदमी पार्टी (AAP) के भी वोट मिल जाते। आप नेता संजय सिंह ने कहा कि नीतीश कुमार ने एनडीए के उम्मीदवार के लिए केजरीवाल को फोन किया, लेकिन उन्होंने साफ इंकार कर दिया। संजय सिंह ने सवाल किया कि अगर नीतीश फोन कर सकते हैं तो राहुल गांधी क्यों नहीं?