दुनिया की सबसे ऊंची चोटी पर ट्रैफिक जाम, मरने वाले पर्वतारोहियों की संख्या बढ़ी

punjabkesari.in Monday, May 27, 2019 - 05:00 PM (IST)

इंटरनेशनल डेस्कः दुनिया की सबसे ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट फतह को करने के चाहवान लोगों की संख्या दिन ब दिन बढ़ती जा रही है। हालात ये हैं कि यहां अब पर्वतारोहियों की काफी लंबी लाइन लगी हुई है, जिसका बुरा असर उनके स्वास्थ्य पर पड़ रहा है।  गुरुवार को यहां जिन तीन लोगों की मौत हुई है, उनमें से दो भारतीय और एक ऑस्ट्रेलियाई है। बुधवार को जो दो मौत हुईं उनमें एक भारतीय और एक अमेरिकी है। 

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जिन दो भारतीयों की गुरुवार को मौत हुई है, उनमें से कल्पना दास (52) और निहाल बागवान (27) हैं। इनकी मौत शिखर से नीचे आने को दौरान हुई। 12 घंटे तक भीड़ में खड़े रहने के कारण बागवान की मौत हुई। जब शेरपा गाइड उन्हें नीचे कैंप चार में लेकर आए तब तक उनकी मौत हो चुकी थी। गुरुवार को एक ऑस्ट्रेलिया पर्वतारोही की भी मौत हो गई। इनमें से एक 55 वर्षीय भारतीय पर्वतारोही अंजली कुलकर्णी थीं। उनके बेटे शांतनु कुलकर्णी का कहना है कि वह कैंप नंबर चार से ऊपर 'ट्रैफिक जाम' में फंस गई थीं। जो कि 8 हजार मीटर की ऊंचाई पर स्थित है।

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मरने वालों की संख्या बीते हफ्ते से अब तक सात हो चुकी है। अभियान से जुड़ी नेपाली कंपनी के मुताबिक अंजली के अलावा अमेरिकी पर्वतारोही डोनाल्ड लायन कैश (55) की भी बुधवार को ही मौत हुई। पर्वत से नीच उतरने के दौरान वह बेहोश हो गए थे। भारतीय सेना के जवान रवि ठाकुर और एक अन्य पर्वतारोही नारायण सिंह की 16 मई को कैंप चार में मौत हुई।

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ठीक उसी दिन पहाड़ी से गिरने के कारण आयरिश प्रोफेसर सिआमुस लॉलेस की मौत हो गई। यहां मार्च से मई के बीच पर्वतारोहियों की काफी भीड़ होती है। नेपाल के पर्यटन विभाग की निदेशक मीरा अाचार्य ने बताया कि इस साल 381 अंतरराष्ट्रीय पर्वतारोहियों को माउंट एवरेस्ट पर चढ़ाई के लिए परमिट दिए गए हैं। जिनमें से भारतीयों की संख्या 78 है।


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Tanuja

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