राष्ट्रपति रईसी के जनाजे में लगे ‘‘इजराइल की मौत'' के नारे, फफक कर रोए सर्वोच्च नेता खामनेई
punjabkesari.in Thursday, May 23, 2024 - 11:27 AM (IST)
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तेहरानः ईरान में हेलीकॉप्टर दुर्घटना में मारे गए देश के राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी, विदेश मंत्री हुसैन आमिर अब्दुल्लाहियन और अन्य अधिकारियों के जनाजे की नमाज देश के सर्वोच्च नेता अयातुल्ला अली खामनेई की अगुवाई में बुधवार को अदा की गई। bके बाद उनके पार्थिव शरीर के साथ राजधानी तेहरान में निकाले गए जुलूस में हजारों लोग शामिल हुए। ईरान के बिरजंद में रईसी को सैन्य मार्च के साथ सम्मान दिया गया । ईरान के शिया धर्म आधारित शासन में बड़े पैमाने पर प्रदर्शन को उसकी वैधता एवं जनसमर्थन के सबूत के तौर पर पेश किया जाता है। इस बीच भारत के उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ तेहरान पहुंचे और एक आधिकारिक शोक समारोह में हिस्सा लिया।
🇮🇷 FUNERAL CEREMONIES BEGIN IN BIRJAND, IRAN FOR FALLEN PRESIDENT
— Mario Nawfal (@MarioNawfal) May 23, 2024
They're singing a traditional song of the martyrdom of a historical imam.
The authorities have declared President Raisi and all of the fallen heads of state are Martyrs.
Source: ISNA94 pic.twitter.com/YKQnFvAtsh
राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी और अन्य के लिए बुधवार अदा की गई जनाजे की नमाज में भीड़ 2020 में बगदाद में अमेरिकी ड्रोन हमले में मारे गए रिवोल्यूशनरी गार्ड के जनरल कासिम सुलेमानी की जनाजे की नमाज से कम बताई जा रही है। जनाजे की नमाज में शामिल कई लोगों ने कहा कि वे इस्लामिक गणराज्य के अन्य शहरों और कस्बों से तेहरान आए हैं। सुलेमानी के लिए सार्वजनिक रूप से फफक पड़े सर्वोच्च नेता अयातुल्ला अली खामेनेई भी रईसी सहित अन्य मृतकों की नमाज जनाजा की अगुवाई करते हुए शांत दिखे।
खामनेई ने नमाज के दौरान अरबी में कहा, ‘‘हे अल्लाह, हमने उनकी अच्छाई के अलावा कुछ नहीं देखा।'' इसके तुरंत बाद वह चले गए और अंदर मौजूद लोग ताबूतों को छूने के लिए उमड़ पडे। ईरान के कार्यवाहक राष्ट्रपति मोहम्मद मोखबर पास में ही खड़े रहे और इस दौरान उन्हें रोते हुए देखा गया। हेलीकॉप्टर दुर्घटना में रविवार को रईसी, विदेश मंत्री आमिर अब्दुल्लाहियन और छह अन्य की मौत ईरान के लिए घरेलू और विदेश दोनों ही स्तर पर राजनीतिक रूप से संवेदनशील क्षण है। तेहरान विश्वविद्यालय में मृतकों के ताबूत रखे गए। ये ताबूत ईरानी ध्वज में लिपटे हुए हैं और ताबूतों पर नेताओं की तस्वीरें लगायी गयी हैं।
🇮🇷 RAISI GETS MILITARY HONORS IN BIRJAND, IRAN
— Mario Nawfal (@MarioNawfal) May 23, 2024
The soldiers march with a lead holding a long sword upright - traditionally symbolizing the power of the Iranian army.
Source: ISNA94 https://t.co/oa6VBCuFmd pic.twitter.com/QC0B1l6Bjd
ताबूत पर रखी गई काली पगड़ी
दिवंगत राष्ट्रपति रईसी के ताबूत पर एक काली पगड़ी रखी गई जो उनके इस्लाम के पैगंबर मोहम्मद का वंशज होने का संकेतक है। इसके बाद लोग अपने कंधों पर ताबूत लेकर चले और बाहर नारे लगाए, ‘‘अमेरिका की मौत।'' इसके बाद उन्होंने तेहरान के पुराने इलाके से होकर आजादी या ‘फ्रीडम' चौक तक जनाजा निकालने के लिए एक ट्रक ट्रेलर में ताबूत रखे। रईसी ने इस चौक पर भाषण दिए थे। इस सभा में ईरान के अर्द्धसैन्य बल रेवोल्यूशनरी गार्ड के शीर्ष नेता भी शामिल हुए। साथ ही हमास का इस्माइल हानियेह भी शामिल हुआ। ईरान, गाजा पट्टी में जारी इजराइल-हमास युद्ध के दौरान इस आतंकवादी समूह का समर्थन कर रहा है और उसे हथियार मुहैया करा रहा है।
मिस्र के विदेश मंत्री समेह शौकरी भी पंहुचे
अंतिम संस्कार की प्रक्रिया शुरू करने से पहले भीड़ का नेतृत्व कर रहे एक अधिकारी ने नारा लगाया, ‘‘इजराइल की मौत।'' हानियेह ने भीड़ में एकत्रित लोगों से कहा, ‘‘मैं हमारी संवेदनाएं व्यक्त करने के लिए फिलीस्तीनी लोगों, गाजा के प्रतिरोधी गुटों की ओर से आया हूं।'' रईसी के अंतिम संस्कार में पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और अफगानिस्तान के विदेश मंत्री आमिर खान मुतक्की समेत तालिबान के एक प्रतिनिधिमंडल के शामिल होने की संभावना है। ईराक के प्रधानमंत्री मोहम्मद शिया अल सूडानी भी श्रद्धांजलि कार्यक्रम में शामिल होने के लिए रवाना हो गए हैं। आर्मीनिया के प्रधानमंत्री निकोल पशिनयान भी कार्यक्रम में शामिल होंगे। यहां तक कि मिस्र के विदेश मंत्री समेह शौकरी ने भी 1979 की इस्लामी क्रांति के बाद देशों के बीच राजनयिक संबंध विच्छेद होने के बावजूद तेहरान आए हैं।
🇮🇷 100K SHOW UP IN BIRJAND, IRAN FOR PRESIDENT RAISI
— Mario Nawfal (@MarioNawfal) May 23, 2024
Aerial images of the town's main road being completely packed with mourners, challenging the narrative that the late President was widely unpopular among Iranians.
Source: ISNA94 https://t.co/BKXaX4jHDo pic.twitter.com/7V4VNv7yEV
छाती पीटकर मातम मनाते दिखे लोग
जनाजे में शामिल लोग सार्वजनिक रूप से रोकर और अपनी छाती पीटकर मातम मनाते दिखे, जो शिया संस्कृति में दुःख व्यक्त करने का एक सामान्य तरीका है।उन्होंने तेहरान के जिस रास्ते से ताबूत रखा ट्रक गुजरा उस रास्ते को अपने स्कार्फ उछाला और ट्रक में मौजूद लोग इनसे आशीर्वाद स्वरूप ताबूत पोंछ रहे थे। एक व्यक्ति ने कहा कि उसने और उसके दोस्तों ने जनाजे में शामिल होने के लिए लगभग सात घंटे की बस यात्रा की। रईसी सहित मारे गए नेताओं के प्रति कई लोगों ने संवेदना प्रकट की। पुलिस द्वारा हिरासत में लिए जाने के जोखिम के बावजूद ढीला हिजाब पहनी 27 वर्षीय महिला सिमा रहमानी ने कहा, ‘‘वह हमारे राष्ट्रपति थे, अन्य पायलट और एक मंत्री थे, मैं उनके जाने से हुई क्षति के प्रति कैसे उदासीन रह सकती हूं?''
अधिकारी ने दुर्घटना के संबंध में रखा नया पक्ष
इस बीच, ईरान के एक अधिकारी ने रविवार को हुई दुर्घटना के संबंध में एक नया पक्ष रखा है, जिससे इस बात को बल मिला है कि खराब मौसम के कारण ही यह हादसा हुआ। रईसी के काफिले में शामिल दो अन्य हेलीकॉप्टर में से एक में सवार गुलामहुसैन इस्माइली ने सरकारी टीवी को बताया कि जब विमान ने उड़ान भरी थी तो मौसम ठीक था। लेकिन रईसी का हेलीकॉप्टर घने बादलों में खो गया और अन्य हेलीकॉप्टर रेडियो के जरिये उस तक नहीं पहुंच पाए, जिसके कारण उन्हें एक नजदीकी कॉपर खदान में उतरना पड़ा। इस्माइली ने बताया कि आमिर अब्दुल्लाहियन या विमान में सवार एक अंगरक्षक में से किसी ने भी फोन का जवाब नहीं दिया, लेकिन मोहम्मद अली अले-हाशेम ने किसी तरह दो मोबाइल फोन का जवाब दिया। अभी यह स्पष्ट नहीं है कि इसके बाद भी ईरान फोन सिग्नल का पता क्यों नहीं लगा पाया। उन्होंने कहा, ‘‘जब हमें दुर्घटनास्थल के बारे में पता चला तो शवों की हालत से ऐसा प्रतीत हुआ कि अयातुल्लाह रईसी और अन्य साथियों की तुरंत मौत हो गयी थी, लेकिन अले-हाशेम ने कई घंटों बाद दम तोड़ा था।''