5वीं पीढ़ी के जेट का इंतजार कम, तेजस-राफेल और एस-400 के दम पर गरजेगा भारत
punjabkesari.in Thursday, Sep 04, 2025 - 12:07 PM (IST)

नेशनल डेस्क: भारत अभी तक 5वीं पीढ़ी के स्टील्थ फाइटर जेट्स का उत्पादन शुरू नहीं कर पाया है। हमारा खुद का 5वीं पीढ़ी का विमान एएमसीए (Advanced Medium Combat Aircraft) बनने में अभी 7-8 साल लगेंगे। लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि हमारी वायुसेना कमजोर है। अभी हमारे पास 4.5वीं पीढ़ी के तेजस और फ्रांस से आए राफेल जैसे मजबूत और आधुनिक फाइटर जेट्स हैं। ये विमान ब्रह्मोस जैसी मिसाइलें भी दाग सकते हैं और हवाई मुकाबले में बहुत सक्षम हैं।
राफेल और तेजस जैसे विमान आधुनिक तकनीक से लैस हैं। ये लड़ाकू विमान कई तरह के मिशन कर सकते हैं। स्टील्थ तकनीक का अभाव हो तो क्या हुआ, जब हम इनके दम पर दुश्मनों से मुकाबला कर सकते हैं। राफेल और तेजस के जरिए भारतीय वायुसेना ने अपनी ताकत और पराक्रम दिखाए हैं। ये विमान मल्टी रोल स्ट्राइक में सक्षम हैं और एयर डिफेंस सिस्टम के साथ मिलकर पूरा स्काई कवर करते हैं।
एयर डिफेंस सिस्टम से मिली ताकत
हमारी सबसे बड़ी ताकत है हमारा एयर डिफेंस सिस्टम। रूस से मिला एस-400 मिसाइल डिफेंस सिस्टम और स्वदेशी आकाश एनजी मिसाइल सिस्टम बेहद ताकतवर हैं। ये सिस्टम दुश्मन के स्टील्थ फाइटर जेट्स को भी आसानी से ट्रैक और नष्ट कर सकते हैं। 5वीं पीढ़ी के विमान भी इनकी पकड़ से बच नहीं पाएंगे। इन मिसाइलों के रडार और सेंसर इतने उन्नत हैं कि वे दुश्मन की हर हरकत पर नजर रखते हैं।
मिशन सुदर्शन चक्र: नई ताकत
भारत अब 'मिशन सुदर्शन चक्र' पर काम कर रहा है। प्रधानमंत्री मोदी ने बताया कि यह मिशन दुश्मन के हमलों को न केवल रोकने में मदद करेगा बल्कि उसका जोरदार जवाब भी देगा। यह एक ऐसा हथियार प्रणाली होगी जो दुश्मन को कई गुना ज्यादा नुकसान पहुंचाएगी। इसका मतलब है कि हमारी सुरक्षा व्यवस्था हर दिन और मजबूत हो रही है।
हालांकि स्टील्थ फाइटर जेट तकनीक भविष्य की जरूरत है, लेकिन अभी के लिए तेजस और राफेल ही काफी हैं। इन विमानों में लगातार सुधार हो रहे हैं और ये ब्रह्मोस जैसी शक्तिशाली मिसाइलों को लॉन्च करने में सक्षम हैं। साथ ही एयर डिफेंस सिस्टम की मजबूती दुश्मनों को घुसपैठ की इजाजत नहीं देती। इसलिए अभी 4.5वीं पीढ़ी के विमान भी एकदम फिट हैं।
स्टील्थ टेक्नोलॉजी बनाम एयर डिफेंस सिस्टम
डिफेंस विशेषज्ञ मानते हैं कि स्टील्थ फाइटर जेट पर बहुत खर्च करने के बजाय एयर डिफेंस सिस्टम को और मजबूत करना ज्यादा समझदारी है। अमेरिका के एफ-15 और एफ-16 जैसे पुराने मॉडल भी आज तक लोकप्रिय हैं क्योंकि वे भरोसेमंद और मजबूत हैं। भारत भी इसी रास्ते पर है, जहां तेजस और राफेल के साथ एयर डिफेंस सिस्टम दुश्मन की योजना को ध्वस्त कर देते हैं।