गुजरात यूनिवर्सिटी की किताब का दावा- भारतीयों ने की रॉकेट, सर्जरी की खोज

punjabkesari.in Friday, Mar 10, 2017 - 12:40 PM (IST)

नई दिल्ली: गुजरात के वडोदरा में एक डायरी को लेकर विवाद हो रहा है। एम एस यूनिवर्सिटी में लाई गई उस डायरी में इतिहास को लेकर नए तथ्य प्रस्तुत किए गए हैं। डायरी को लेकर विपक्षी पार्टियों जिसमें कांग्रेस भी शामिल है उसके साथ-साथ वहां के कई शिक्षाविदों ने भी विरोध करना शुरू कर दिया है। उन लोगों का कहना है कि भाजपा अकादमी सस्थानों का भगवाकरण करना चाहती है। 2017 में ही छापी गई उस किताब में काफी हैरान कर देने वाली बातें लिखी हैं। 

यह लिखा है किताब में 
किताब में भारतीय वैज्ञानिक सुष्त्र को कॉस्मेटिक सर्जरी का जनक बताया गया है, किताब के अगले पेज पर लिखा गया है कि न्यूक्लियर टेक्नोलौजी का अविष्कार आचार्य कन्नड द्वारा किया गया था। इसके अलावा कपिल मुनि को ब्रह्माण्ड विज्ञान और महार्षि भारद्वाज को रॉकेट और एरोप्लेन बनाने वाला बताया गया है। इतना ही नहीं चरक ऋषि को दवाईयों और गर्गा मुनी को सितारों की खोज करने वाला लिखा गया है। यूनिवर्सिटी के जिन लोगों द्वारा किताब लाई जा रही है उन्होंने अपने संदर्भ के बारे में भी बताया है। उन लोगों का कहना है कि इन बातों के लिए लेखक-कार्यकर्ता दीनानाथ बत्रा की किताबों का संदर्भ लिया गया था।

उन किताबों का संदर्भ लेने के लिए यूनिवर्सिटी के सीनियर सिंडिकेट मेंबर ने भी सिफारिश की थी। सिंडिकेट मेंबर जिगेश सोनी ने अपने फैसले को सही ठहराते हुए कहा कि इसमें उनको कुछ गलत नहीं लगता। उन्होंने कहा कि अगर सेटेलाइट और मिसाइल्स को हमारे लोगों ने बनाया है तो उनका नाम आने में क्या दिक्कत है? लेकिन इसका विरोध कर रहे खेमे का कहना है कि इससे स्टूडेंट्स के दिमाग में कन्फ्यूजन आ जाएगी। उन लोगों की तरफ से कहा गया है कि अपने कल्चर और रिसर्च को ही बेस्ट बताना गलत है। ऐसी 2000 डायरी छपवाई गई हैं। उन सबको यूनिवर्सिटी में बंटवाने का प्लान है।


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