राष्ट्रपति बनते ही Donald Trump का धमाका, Canada के लिए 1 फरवरी से बढ़ेंगी मुश्किलें
punjabkesari.in Tuesday, Jan 21, 2025 - 10:20 AM (IST)
नेशनल डेस्क: अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने 1 फरवरी से कनाडा और मैक्सिको से आयातित वस्तुओं पर 25 प्रतिशत टैरिफ लगाने का प्रस्ताव रखा है। यह कदम अमेरिकी व्यापार नीति में एक महत्वपूर्ण बदलाव के रूप में देखा जा रहा है, जो अमेरिकी नागरिकों और उनके परिवारों की सुरक्षा को प्राथमिकता देने का दावा करता है। ट्रंप ने इस कदम को “अमेरिका फर्स्ट” नीति के तहत उठाया है, जिसका उद्देश्य अमेरिकी व्यापार घाटे को कम करना और अन्य देशों से आयातित वस्तुओं पर शुल्क बढ़ाकर अमेरिकी अर्थव्यवस्था को मजबूती देना है।
अमेरिकी व्यापार नीति में होगा बड़ा बदलाव
राष्ट्रपति पद की शपथ लेने के बाद डोनाल्ड ट्रंप ने संकेत दिया था कि वह अमेरिकी व्यापार नीति में बड़ा बदलाव करने वाले हैं। उन्होंने इस बात पर जोर दिया था कि अमेरिका अन्य देशों के साथ व्यापार में घाटे को कम करेगा और इससे होने वाली समस्याओं का समाधान करेगा। ट्रंप ने यह भी कहा था कि अमेरिकी टैक्सप payers का पैसा अन्य देशों के विकास में नहीं जाएगा। इसके बजाय, उनका उद्देश्य यह है कि अमेरिका अपनी वस्तुएं घरेलू बाजार में बेचे और आयातित वस्तुओं पर टैरिफ बढ़ाकर अन्य देशों से होने वाले लाभ को कम कर दिया जाए।
25 प्रतिशत टैरिफ होगा लागू
ट्रंप का यह प्रस्ताव विशेष रूप से कनाडा और मैक्सिको जैसे देशों के लिए चिंता का कारण बन गया है। ट्रंप ने कहा कि 1 फरवरी से कनाडा और मैक्सिको से आयातित वस्तुओं पर 25 प्रतिशत टैरिफ लागू किया जा सकता है। यह कदम अमेरिका के व्यापार घाटे को कम करने के उद्देश्य से उठाया जा रहा है। ट्रंप का कहना है कि अमेरिका को कनाडा या मैक्सिको से आयातित वस्तुओं की कोई आवश्यकता नहीं है, और अन्य देशों से आयात पर शुल्क बढ़ाकर अमेरिकी खजाने को भरने का उनका उद्देश्य है।
कनाडा इसका प्रभावी जवाब देने के लिए तैयार है
कनाडा ने ट्रंप के प्रस्ताव पर कड़ी प्रतिक्रिया दी है। कनाडा के वित्त मंत्री डोमिनिक लेब्लांक और विदेश मंत्री मेलोनी जोली ने कहा कि यदि ट्रंप का प्रस्ताव लागू होता है तो कनाडा इसे स्वीकार नहीं करेगा और इसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेगा। जोली ने कहा कि कनाडा इस टैरिफ को रोकने के लिए सभी प्रयास करेगा और अगर यह लागू हुआ, तो कनाडा इसका प्रभावी जवाब देने के लिए तैयार है। फाइनेंस मिनिस्टर डोमिनिक लेब्लांक ने भी कहा कि कनाडा अमेरिकी राष्ट्रपति की अप्रत्याशित कार्रवाइयों के लिए पूरी तरह तैयार है। उन्होंने कहा कि कनाडा इस प्रस्ताव के खिलाफ सभी कूटनीतिक प्रयास करेगा ताकि इसके नकारात्मक प्रभाव से बचा जा सके।
कैसे है अमेरिका और कनाडा के व्यापार संबंध
अमेरिका और कनाडा के बीच व्यापारिक संबंध बहुत ही मजबूत और महत्वपूर्ण हैं। अमेरिका की तेल खपत का एक चौथाई हिस्सा कनाडा से आता है। अल्बर्टा, कनाडा से प्रतिदिन 4.3 मिलियन बैरल तेल अमेरिका को निर्यात करता है। इसके अलावा, कनाडा अमेरिका के 36 राज्यों को प्रतिदिन लगभग 3.6 बिलियन कनाडाई डॉलर की वस्तुएं और सेवाएं प्रदान करता है। इन मजबूत व्यापारिक संबंधों के बावजूद, ट्रंप का यह कहना कि अमेरिका को कनाडा से तेल या अन्य कोई वस्तु नहीं चाहिए, दोनों देशों के रिश्तों को और तनावपूर्ण बना सकता है। इससे व्यापारिक दृष्टिकोण से दोनों देशों के बीच एक आर्थिक तनाव पैदा हो सकता है, जो दोनों के लिए नुकसानदेह हो सकता है।
व्यापारिक रिश्तों में तनाव की आशंका
अगर ट्रंप का प्रस्ताव लागू होता है तो इसका कनाडा और मैक्सिको दोनों देशों के साथ व्यापारिक संबंधों पर गहरा असर पड़ सकता है। कनाडा और अमेरिका के बीच व्यापार का दायरा इतना बड़ा है कि इस पर कोई भी बड़ा फैसला सीधे तौर पर दोनों देशों की अर्थव्यवस्थाओं को प्रभावित करेगा। इसके अलावा, अगर कनाडा और मैक्सिको दोनों देशों ने अपने स्तर पर प्रतिक्रिया दी और टैरिफ को चुनौती दी, तो यह एक व्यापार युद्ध की स्थिति को जन्म दे सकता है, जो न केवल अमेरिका, कनाडा और मैक्सिको के लिए, बल्कि वैश्विक अर्थव्यवस्था के लिए भी खतरनाक साबित हो सकता है। इस प्रस्ताव के लागू होने के बाद, दोनों देशों के व्यापारिक रिश्तों में तनाव बढ़ने की संभावना है, और इसके दूरगामी परिणाम हो सकते हैं। फिलहाल, कनाडा और मैक्सिको दोनों देशों ने इस प्रस्ताव का विरोध किया है और इसे रोकने के लिए कूटनीतिक उपायों पर विचार कर रहे हैं।