चीन का सबसे खतरनाक फ्यूचर प्लान, भारत के खिलाफ पानी को हथियार की तरह करेगा इस्तेमाल !

punjabkesari.in Thursday, Feb 02, 2023 - 04:15 PM (IST)

इंटरनेशनल डेस्कः भारत और चीन के बीच लंबे समय से सीमा विवाद चल रहा है। इस बीच  दावा किया जा रहा है कि चीन भारत की जमीन के साथ अब पानी पर भी कब्जा करने की कोशिश कर रहा है। भारत के खिलाफ हर दांव-पेच आजमाने वाला चीन अब सबसे खतरनाक फ्यूचर प्लान बना रहा है । एक रिपोर्ट में खुलासा हुआ है कि चीन आने वाले समय में भारत के खिलाफ पानी को हथियार की तरह इस्तेमाल करेगा।  द जेनेवा डेली ने अपनी   रिपोर्ट में बताया कि भारत-नेपाल सीमा से कुछ किलोमीटर उत्तर में स्थित माबजा जांगबो नदी पर एक बड़े बांध का निर्माण कर रहा है ताकि इसे युद्ध में हथियार के तौर पर इस्तेमाल कर सके।

 

इसके अलावा, चीन इस डैम के पास एक हवाई अड्डा बनाने की भी योजना बना रहा है ताकि चीनी वायु सेना की आवाजाही में मदद मिल सके। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक  सैटेलाइट तस्वीरों  से खुलासा हुआ है कि चीन माबजा जांगबो नदी पर नया बांध बना रहा है। ANI की रिपोर्ट के मुताबिक यह बांध जिस जगह बन रहा है उससे कुछ किलोमीटर की दूरी पर ही भारत-नेपाल-चीन का बॉर्डर है। इंटेलीजेंस रिसर्चर डेमियन साइमन ने अपने ऑफिशियल ट्विटर हैंडल पर इसे लेकर कुछ तस्वीरें शेयर की हैं। डेमियन साइमन ने दावा किया है कि चीन इस डैम के जरिए इस पूरे इलाके के पानी को कंट्रोल करने की कोशिश में है।  जिस जगह यह बांध बन रहा है वहां एक बड़ा जलाश्य है और यहां के पानी पर कंट्रोल करने के लिए चीन इस बांध को तैयार कर रहा है।  

 

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक तिब्बत के पठार पर पानी की बडी-बड़ी जलाश्य हैं. चीन इसी पानी पर दावा करता है. यहीं से सिंधु, गंगा, ब्रह्मपुत्र, इरावेड्डी, सलवीन, यांगजे और मेकॉन्ग जैसी बड़ी नदियों का प्रवाह होता है। ये नदियां भारत, पाकिस्तान, बांग्लादेश, म्यांमार, लाओस और वियतनाम में बहती हैं और इन देशों में सिंचाई और पीने के  पानी का बड़ा स्त्रोत हैं। यही वजह है कि चीन इस पर कंट्रोल करने की कोशिश में है।  एक्सपर्ट्स का मानना है कि भारत पर दबाव बनाने के लिए चीन नदियों के पानी को प्रदूषित कर सकता है। इसके बाद पानी भारत के इस्तेमाल के लायक नहीं रह जाएगा। एक रिपोर्ट के मुताबिक 2017 में सियांग नदी का पानी प्रदूषित हो गया था। कुछ समय के लिए पानी इस्तेमाल के लायक नहीं रह गया था जिसका खेती पर भी काफी प्रभाव पड़ा था।


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Content Writer

Tanuja

Recommended News

Related News