जम्मू कश्मीर में कांग्रेस का वोट काटने के लिए खड़े किए गए आज़ाद, जयराम ने गुलाम नबी पर साधा निशाना

punjabkesari.in Saturday, Jan 28, 2023 - 06:32 PM (IST)

नेशनल डेस्क: कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने शनिवार को कहा कि उन्होंने कभी नहीं सोचा था कि पार्टी के पूर्व नेता गुलाम नबी आजाद ‘मीर जाफर' बनेंगे और आरोप लगाया कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने उन्हें जम्मू कश्मीर में कांग्रेस का वोट काटने के लिए खड़ा किया है। भारत जोड़ो यात्रा में पदयात्रा कर रहे रमेश ने कहा कि अभी सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि जम्मू कश्मीर के राज्य का दर्जा बहाल किया जाए और चुनाव कराए जाएं। उन्होंने कहा कि साथ ही यह भी जरूरी है कि लद्दाख को संविधान की छठी अनुसूची के तहत लाया जाए ताकि यह नौकरशाहों द्वारा नहीं बल्कि निर्वाचित प्रतिनिधियों द्वारा शासित हो।

भारत जोड़ो यात्रा कश्मीर में अपने अंतिम चरण में है और इसका समापन 31 जनवरी को होने वाला है। उन्होंने डेमोक्रेटिक आज़ाद पार्टी (डीएपी) के प्रमुख एवं कांग्रेस के पूर्व नेता गुलाम नबी आज़ाद को वोटों को बांटने की भाजपा की योजना के तहत सूचीबद्ध किया। रमेश के अनुसार उस सूची में ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन के असदुद्दीन ओवैसी और आम आदमी पार्टी (आप) भी शामिल है। रमेश ने कहा, ‘‘कांग्रेस से उनका जाना वोट काटने की मोदी-शाह की योजना का हिस्सा था।

भारत में तीन वोट कटवा हैं
भारत में तीन वोट कटवा हैं - भाजपा द्वारा खड़े किये गए असदुद्दीन ओवैसी और आप तथा जम्मू कश्मीर में कांग्रेस के वोट काटने के लिए खड़े किए गए आज़ाद। मुझे नहीं लगता कि ऐसा वास्तव में होगा।'' यह पूछे जाने पर कि क्या आजाद अपनी डीएपी से कांग्रेस की संभावनाओं में सेंध लगाएंगे, रमेश ने कहा कि आजाद के साथ कांग्रेस छोड़कर गए अधिकतर कार्यकर्ता और नेता पार्टी में वापस लौट आए हैं।

क्या आज़ाद कभी कांग्रेस में वापसी कर सकते हैं?
यह पूछे जाने पर कि क्या आज़ाद कभी कांग्रेस में वापसी कर सकते हैं जैसा उनकी नवगठित पार्टी के सहयोगियों ने वापसी की है, रमेश ने कहा, ‘‘मुझे नहीं पता कि श्री आज़ाद की क्या योजनाएं हैं। मैंने कभी सपने में भी नहीं सोचा था कि वह वास्तव में कांग्रेस छोड़ देंगे। यही वह पार्टी है जिसने लगभग 50 वर्षों तक उन्हें एक पहचान दी, उन्हें मुख्यमंत्री, केंद्रीय मंत्री, विपक्ष के नेता सहित पार्टी और सरकार में हर संभव पद दिया लेकिन मैंने कभी नहीं सोचा था कि वह मीर जाफर होंगे।'' मीर जाफर बंगाल के नवाब सिराज उद-दौला के तहत बंगाल सेना का कमांडर था।

मीर जाफर ने लड़ाई में धोखा दिया था
मीर जाफर ने प्लासी की लड़ाई के दौरान सिराज उद-दौला को धोखा दिया, जिससे भारत में अंग्रेजों के शासन का मार्ग प्रशस्त हुआ। कांग्रेस महासचिव रमेश ने यह स्वीकार किया कि वह कभी भी आज़ाद के करीबी सहयोगी नहीं रहे। रमेश ने कहा कि ‘‘जिस तरह से उन्होंने (आजाद ने) पार्टी छोड़ी, वह उसे कभी स्वीकार नहीं कर सकते, उन्होंने (आजाद ने) विशेष रूप से पिछले 50 वर्षों में कांग्रेस से सभी लाभ प्राप्त करने के बाद जिस तरह से पत्र लिखा, उसने उन्हें (आजाद को) कांग्रेस के हर व्यक्ति की नज़र में गिरा दिया।''


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rajesh kumar

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