दो रूटों की ट्रेनों में होंगे विमान जैसे टॉयलेट

punjabkesari.in Monday, Jun 29, 2015 - 05:45 PM (IST)

नई दिल्ली: रेल यात्रियों को ट्रेन में एक और बड़ी सुवीधा मिलने जा रही है। 2 अक्टूबर से भारतीय रेल दो रूटों पर चलने वाली रेलगाडिय़ों में बायो-टॉयलेट लगाने जा रही है। बता दें कि दो अक्टूबर को ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा लांच किए गए स्वच्छ भारत अभियान के एक साल पूरे हो रहे हैं।

चालू वित्त वर्ष में भारतीय रेल ने 367 किलोमीटर रेलवे ट्रैक को मानव अपशिष्ट से मुक्त करने का लक्ष्य रखा है, इसमें से 175 किलोमीटर दो अक्टूबर से अपशिष्ट मुक्त हो जाएगा। इस प्रक्रिया से जुड़े रेल मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार, शुरुआत में कनालुस-द्वारका-ओखा का 141 किलोमीटर ट्र्रेक और पोरबंदर-वांसजल्य का 34 किमी ट्रैक दो अक्टूबर से पूरी तरह मानव अपशिष्ट मुक्त हो जाएगा। 

अगले साल मार्च तक जम्मू-कटरा सेक्शन के 78 किमी और रामेश्वरम और मानामदुरई के बीच के 114 किमी रेलवे ट्रैक को स्वच्छ रखने के लिए इन मार्गों पर चलने वाली रेलगाडिय़ों में बायो-टॉयलेट लगाए जाएंगे। अधिकारी के अनुसार, चुने गए 367 किमी रेलवे ट्रैक पर लगभग 40 रेलगाडिय़ां चलती हैं और अगले वर्ष मार्च तक प्रत्येक ट्रेन में बायो-टॉयलेट लगाए जाएंगे।

मार्च 2015 तक भारतीय रेल ने रेलगाडिय़ों में 17,000 से अधिक बायो-टॉयलेट लगवाए थे और चालू वित्त वर्ष में लक्ष्य इससे कहीं ज्यादा का रखा गया है। रेलगाड़ी के एक डब्बे में चार बायो-टॉयलेट लगवाने में तीन लाख रुपये का खर्च आता है और लगभग 6,000 डब्बों में इसे लगाया जा चुका है। वर्तमान में 65,000 किमी लंबे ट्रैक पर 11,000 सवारी रेलगाडिय़ां चलती हैं।

पिछले साल दो अक्टूबर को तत्कालीन रेलमंत्री सदानंद गौड़ा ने नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर झाड़ू लगाकर पीएम के स्वच्छता अभियान की शुरुआत की थी।  बायो-टॉयलेट में विशेष रूप से विकसित किए गए जीवाणु अपशिष्ट को नष्ट कर देते हैं और सिर्फ थोड़ा सा स्वच्छ पानी ही इससे बाहर निकलता है। भारत के सामने सफाई की चुनौती के लिए इसे एक स्थायी समाधान के तौर पर देखा जा रहा है।


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