Election Week: ब्रिटेन चुनाव मैदान में रिकॉर्ड 107 उम्मीदवार; सभी पार्टियों की नजर भारतवंशी वोटरों पर, फ्रांस और ईरान में भी चुनाव

punjabkesari.in Thursday, Jul 04, 2024 - 11:57 AM (IST)

लंदनः ब्रिटेन में गुरुवार को हो रहे आम चुनाव में सभी पार्टियों की नजर भारतवंशी वोटरों पर है। देश की 650 सीटों के लिए 107 भारतीय चुनाव मैदान में हैं। ऐसा कोई प्रमुख दल नहीं है, जिसने भारतवंशियों को टिकट नहीं दी हो।  दोनों प्रमुख दलों के पीएम उम्मीदवार, भारतवंशी ऋषि सुनक हों या फिर लेबर पार्टी के नेता कीर स्टार्मर, भारतवंशियों को लुभाने के लिए चुनाव अभियान के अंतिम चरण में मंदिरों के चक्कर लगाते दिखे। ब्रिटेन की मौजूदा संसद में 15 भारतवंशी सांसद हैं, जिनकी संख्या आगामी संसद में बढ़कर 35 हो जाने का अनुमान लगाया जा रहा है। थिंक टैंक ब्रिटिश फ्यूचर के एक विश्लेषण के अनुसार, ब्रिटेन में मौजूदा आम चुनाव के बाद जातीय रूप से सबसे विविधतापूर्ण संसद बनने की उम्मीद है। करीब 14 फीसदी उम्मीदवार जातीय अल्पसंख्यक बैकग्राउंड से आने की उम्मीद है। इसमें देश भर से चुने जाने वाले भारतीय मूल के सांसदों की संख्या भी शामिल है।

 

ईरान में मतदान कल
ईरान में राष्ट्रपति पद के लिए 5 जुलाई को दोबारा चुनाव होंगे। पिछले सप्ताह हुए पहले दौर के चुनाव नहीं कोई भी उम्मीदवार 50 फीसदी वोट हासिल नहीं कर सका।अब मुकाबला कट्टरपंथी सईद जलीली और हिजाब विरोधी मसूद पेजेशकियन में हैं, जो हार्ट सर्जन हैं।

 

फ्रांस: दूसरे विश्वयुद्ध के बाद सबसे अहम चुनाव 
इमैनुएल मक्रों की रेनेसां पार्टी सिर्फ 20.76% वोट हासिल कर तीसरे नंबर पर रही और दक्षिणपंथी पार्टी नेशनल रैली को सबसे ज्यादा  33.15% वोट मिले। इसके बाद 7 जुलाई को होने वाले दूसरे दौर के चुनाव में सिर्फ वही उम्मीदवार चुनाव लड़ेंगे जिनको 12.5 फीसदी वोट मिले फ्रांस में दक्षिणपंथी दलों के इस उभार को फ्रांस की राजनीति में दूसरे विश्व युद्ध के बाद का सबसे बड़ा बदलाव माना जा रहा है। दक्षिण पंथी नेशनल रैली पार्टी को रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से भी फंडिंग होने का अनुमान है। इसलिए यहां नेशनल रैली को सरकार बनाने से रोकने के लिए नए गठबंधन बन रहे हैं।


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Content Writer

Tanuja

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