कनाडा की अर्थव्यवस्था को बुजुर्ग आबादी से हो रहा है नुकसान, इसलिए भरपाई के लिए हर साल चाहिए 5 लाख प्रवासी!

punjabkesari.in Tuesday, Nov 29, 2022 - 05:33 PM (IST)

इंटरनेशनल डेस्क: देश में बढ़ती बुजुर्ग आबादी से अर्थव्यवस्था को होने वाले नुकसान की भरपाई के लिए कनाडा ने प्रवासियों पर दांव लगाया है। इसी महीने की शुरुआत में संघीय सरकार ने 2025 तक हर साल पांच लाख प्रवासियों को कनाडा में लाने की योजना का ऐलान किया है। जिसके मुताबिक अगले तीन साल में करीब 15 लाख प्रवासी कनाडा में जाएंगे। आबादी में स्थाई निवासियों के अनुपात के लिहाज से ब्रिटेन के मुकाबले आठ गुना और अमरीका से चार गुना बड़े कनाडा में नए प्रवासी आएंगे। लेकिन हालिया हलचल से पता चला है कि इन नए मेहमानों को लेकर लोगों में बेचैनी भी है।

कई सालों से कनाडा आप्रवासियों को स्थाई निवासी के तौर पर आकर्षित करता रहा है जिन्हें देश में असीमित काल के लिए रहने के अधिकार तो हैं, लेकिन वे नागरिक नहीं हैं, ताकि आबादी और अर्थव्यवस्था दोनों बढ़ती रहे। पिछले साल कनाडा ने चार लाख पांच हज़ार स्थाई निवासियों को अपने यहां जगह दी, जोकि इसके पूरे इतिहास में सबसे बड़ी संख्या है। कुछ लोगों का कहना है कि इसके पीछे बहुत साधारण गणित है। बहुत सारे पश्चिमी देशों की तरह कनाडा भी बढ़ती बुजुर्ग आबादी और निम्न जन्म दर का सामना कर रहा है। इसका मतलब ये हुआ कि अगर देश विकास करना चाहता है तो उसे प्रवासी लाने होंगे।

एक मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक सरकार की ओर से जारी ताजा आंकड़ों के अनुसार, व्यावहारिक रूप से सभी देशों में लेबर फोर्स विकास का मुख्य हिस्सा प्रवासी हैं और अनुमान है कि साल 2032 तक देश की सकल आबादी वृद्धि के लिहाज से भी वही मुख्य कारक होंगे।  इस महीने की शुरुआत में सरकार ने ऐलान किया कि उसे उम्मीद है कि 2025 तक हर साल पांच लाख प्रवासी देश में आएंगे। यह संख्या 2021 से 25 फीसदी ज्यादा है। वर्तमान में हर चौथा कनाडाई देश में प्रवासी के रूप में आया है, जोकि जी-7 देशों में सर्वाधिक है। अगर अमेरिका से तुलना करें तो यहां सिर्फ 14 प्रतिशत प्रवासी हैं। ब्रिटेन में भी करीब 14 प्रतिशत ही प्रवासी आबादी है।  

ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी में माइग्रेशन ऑब्सर्वेटरी की डायरेक्टर मैडेलीन सम्पशन का कहना है कि इन आंकड़ों का ये मतलब नहीं है कि ब्रिटेन आव्रजन मामले में पीछे है। ब्रिटेन की आबादी कनाडा से दोगुनी है और वहां आबादी घनत्व सघन है, जबकि कनाडा की आबादी 3.8 करोड़ है और दुनिया में आबादी के अनुपात में यहां सबसे अधिक जमीन है। वह कहती हैं कि आमतौर पर ब्रिटेन का लक्ष्य कनाडा के तरीके से अपनी आबादी बढ़ाने का नहीं है। मैकमास्टर यूनिवर्सिटी में पॉलिटिकल साइंटिस्ट ज्‍यॉफ़्रे कैमरून ने बताया कि हालांकि कनाडा की तरह कई देश कम जन्मदर और बूढ़ी होती आबादी का सामना कर रहे हैं लेकिन कोई भी आव्रजन व्यवस्था, लोकप्रिय समर्थन पर ही निर्भर करती है।

कनाडा अन्य बड़े देशों के मुकाबले आर्थिक आधार पर अधिक प्रवासी ही नहीं लेता है, बल्कि वो शरणार्थी पुनर्वास के मामले में भी शीर्ष पर है। साल 2021 में उसने 20,428 प्रवासियों को अपने यहां शरण दी थी। हालांकि कनाडा ने अपने भविष्य के लक्ष्य निर्धारित कर लिए हैं, लेकिन अतीत बताता है कि वह अपने ही बनाये लक्ष्य से चूका भी है। साल 2021 में कनाडा ने 59,000 शरणार्थियों के पुनर्वास का लक्ष्य रखा था, लेकिन करीब एक तिहाई प्रवासियों को ही वो ले पाया था। आव्रजन मंत्री सीन फ्रेजर ने सीबीसी को दिए एक साक्षात्कार में कहा कि कोविड की वजह से कनाडा और पूरी दुनिया में सीमाओं का सील होना इसका मुख्य कारण था। साल 2023 में कनाडा ने 76,000 शरणार्थियों के पुनर्वास में मदद का लक्ष्य रखा है।


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Content Writer

Anil dev

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