Pradosh Vrat 2021: तंत्र-मंत्र की शक्ति से बढ़ाएं अपना व्यापार
punjabkesari.in Wednesday, Mar 10, 2021 - 06:31 AM (IST)

शास्त्रों की बात, जानें धर्म के साथ
2021 Pradosh Vrat- आज 10 मार्च बुधवार को प्रदोष व्रत है। इस रोज़ आने वाले प्रदोष को सौम्यवारा प्रदोष भी कहते हैं। मान्यता है की जो व्यक्ति प्रदोष व्रत करता है, उसका सुख-सौभाग्य सदा बना रहता है। कुछ विद्वान तो यहां तक मानते हैं की केवल प्रदोष व्रत करने से सौ गाय दान करने के बराबर पुण्य की प्राप्ति होती है। सूर्यास्त से 45 मिनट पहले और सूर्यास्त के 45 मिनट बाद का जो वक्त होता है, उसे प्रदोष काल कहा जाता है। इस दौरान भोले बाबा की पूजा करने से वे जल्दी प्रसन्न होते हैं और मनवांछित वर प्रदान करते हैं।
Phalguna Pradosh Vrat 2021- यदि आपको कारोबार से संबंधित कोई भी परेशानी चल रही है तो यहां बताए जा रहे तंत्र-मंत्र की शक्ति से बढ़ाएं अपना व्यापार और कमाएं मनचाहा लाभ।
Pradosh vrat ke upay- बिक्री बढ़ाने के लिए मंत्र- ॐ श्रीं श्रीं श्रीं परमां सिद्धीं श्री श्रीं ॐ।
Remedy for Gain in Business- इसकी साधना सायंकाल को श्रेष्ठ मानी जाती है। प्रदोष व्रत करके 1000 मंत्रों का जप करें। जप के बाद अष्टगंध और नागौरी के फूलों से 108 मंत्र की अग्रि में आहुतियां दें। इस प्रकार सात प्रदोष व्रत करने से व्यापार में वृद्धि होती है।
Pradosh vrat ke totke- व्यापार में अधिक लाभ का तंत्र
ॐ ह्रीं श्रीं क्रीं श्रीं कुबेराय अष्ट लक्ष्मी मम गृहे धनं पूरय पूरय नम:।
सामग्री- जलपात्र, घी का दीपक, मंत्र सिद्ध प्राण-प्रतिष्ठायुक्त धातु-निर्मित कुबेर यंत्र, अगरबत्ती तथा किशमिश या दाख।
माला- स्फटिक की माला।
समय- रात्रि का कोई भी समय।
आसन- सफेद रंग का सूती आसन।
दिशा- उत्तर दिशा।
जप संख्या- सवा लाख।
अवधि- पांच, ग्यारह या पंद्रह दिन।
Vyapar Vridhi Aur Dhan Vridhi Ke Liye Upay- रात्रि को किसी भी समय स्नान कर सफेद वस्त्र बिछाकर उस पर कुबेर यंत्र स्थापित करें और उसे जल से स्नान कराकर केसर, पुष्प आदि से पूजा करें तथा अगरबत्ती दीपक लगा लें। इसके बाद उपर्युक्त मंत्र का जप करें।
Kuber Yantra- कुबेर यंत्र के सामने चार दाने किशमिश का भोग लगा दें, जो दूसरे दिन बालकों में वितरित कर दें। इस प्रकार जब यह प्रयोग सम्पन्न हो जाए, तब उस कुबेर यंत्र को अपनी दुकान में स्थापित कर देना चाहिए, ऐसा करने से कुबेर सिद्ध हो जाते हैं और आश्चर्यजनक रूप से व्यापार में वृद्धि होने लगती है।
इस प्रयोग से दरिद्रता का नाश होता है और यदि व्यापार नहीं चल रहा हो तो या सही प्रकार से बिक्री न हो रही हो या उसमें किसी प्रकार की अड़चन आ रही हो तो इस प्रयोग से वह समाप्त हो जाती है।