Ayodhya Ram Mandir: राम मंदिर के शिखर पर गूंजेगा आस्था का प्रतीक, ध्वज के आकार पर अंतिम फैसला जल्द
punjabkesari.in Friday, Sep 19, 2025 - 08:04 AM (IST)

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Ayodhya Ram Mandir: अयोध्या में निर्माणाधीन भव्य राम मंदिर के शिखरों पर फहराए जाने वाले ध्वज की डिजाइन को लेकर तैयारियां तेज़ हो गई हैं। मुख्य शिखर पर एक बड़ा ध्वज लगेगा जबकि अन्य उप शिखरों और मंदिर परिसर में बने पूरक मंदिरों के शिखरों पर छोटी पताकाएं लगाई जाएंगी। श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के सचिव चंपतराय इस ध्वज की रूपरेखा तय करने के लिए विभिन्न धर्माचार्यों और तकनीकी विशेषज्ञों से विचार-विमर्श कर रहे हैं। डिजाइन के स्वरूप, रंग और चिह्न को लेकर कई सुझावों पर चर्चा चल रही है।
विचाराधीन विकल्पों में सूर्य भगवान का प्रतीक, सूर्यवंश का चिन्ह ‘कोविदार’ का पौधा या फिर वाल्मीकि रामायण में वर्णित श्लोक रामो विग्रहवान् धर्मः का कोई अंश शामिल किया जा सकता है। ध्वज का रंग केसरिया या पीला होने की संभावना है और आकार त्रिकोणीय या चतुष्कोणीय रखा जा सकता है। ध्वज के निर्माण में उपयोग किए जाने वाले वस्त्र को लेकर भी विशेष सावधानी बरती जा रही है ताकि यह लंबे समय तक टिकाऊ रहे और शास्त्रीय मानकों पर खरा उतरे। माना जा रहा है कि अगले 15 दिनों में इसका अंतिम डिजाइन तैयार कर लिया जाएगा। मुख्य शिखर पर यह ध्वज एक विशेष समारोह में 25 नवंबर को फहराया जाएगा, जिसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की उपस्थिति की भी संभावना है।
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, मंदिरों के शिखरों पर लगाए जाने वाले ध्वज केवल सजावट के लिए नहीं होते, बल्कि वे देवता की महिमा, भक्तिभाव और मंदिर की पवित्रता का प्रतीक माने जाते हैं। वैदिक परंपरा के अनुसार, प्रत्येक देवता के अनुरूप ध्वज का रंग और रूप निर्धारित होता है जैसे शिव मंदिरों पर सफेद और विष्णु से संबंधित मंदिरों पर पीले ध्वज फहराए जाते हैं। वैदिक विद्वान संजय शास्त्री का मानना है कि ध्वज केवल हवा में लहराने वाला कपड़ा नहीं, बल्कि यह देवत्व, विजय और धर्म की प्रतिष्ठा का प्रतीक है। ट्रस्ट के चेयरमैन नृपेंद्र मिश्र और ट्रस्टी डॉ. अनिल कुमार मिश्र ने बताया कि पूरी प्रक्रिया ट्रस्ट सचिव की निगरानी में हो रही है और अंतिम निर्णय जल्द ही साझा किया जाएगा।