Banking Sector News: बैंकिंग सेक्टर में बड़े बदलाव की तैयारी, इन छह बैंकों के विलय पर होगा बड़ा फैसला
punjabkesari.in Thursday, Nov 27, 2025 - 05:22 PM (IST)
बिजनेस डेस्कः केंद्र सरकार एक बार फिर बैंकिंग सेक्टर में बड़े बदलाव की तैयारी में है। सूत्रों के मुताबिक, सरकार छह सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों को आपस में या किसी बड़े बैंक के साथ मिलाने पर विचार कर रही है। इसका उद्देश्य ऐसे मजबूत बैंक तैयार करना है, जो वैश्विक स्तर पर भारत का प्रतिनिधित्व कर सकें और दुनिया के टॉप 100 बैंकों की सूची में जगह बना सकें।
सबसे बड़ा सरकारी बैंक SBI भी लंबे समय से बड़े और प्रतिस्पर्धी बैंक समूह बनाने की वकालत कर रहा है ताकि भारतीय बैंकिंग सेक्टर का ग्लोबल प्रेज़ेंस बढ़ सके। इस समय सरकार के सामने छह PSU बैंकों- बैंक ऑफ इंडिया, इंडियन ओवरसीज़ बैंक, सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया, बैंक ऑफ महाराष्ट्र, यूको बैंक और पंजाब एंड सिंध बैंक के भविष्य को लेकर फैसला लंबित है।
मर्जर क्यों?
- बैंकों की वित्तीय स्थिति मजबूत होगी
- NPA में कमी आएगी
- डिजिटल सर्विसेज़ का विस्तार होगा
- ग्लोबल लेवल पर भारतीय बैंकों की प्रतिस्पर्धा बढ़ेगी
पहले भी हुए हैं बड़े मर्जर
पिछले तीन दशक में बैंकिंग सेक्टर में कई बड़े मर्जर हुए हैं।
- 2017: SBI ने अपने छह सहयोगी बैंकों और भारतीय महिला बैंक को मिलाकर देश का सबसे बड़ा सार्वजनिक बैंक बनाया।
- 2019: बैंक ऑफ बड़ौदा ने विजया बैंक और देना बैंक का विलय किया।
2020:
- PNB ने OBC और यूनाइटेड बैंक को मिलाया
- केनरा बैंक ने सिंडिकेट बैंक को जोड़ा
- यूनियन बैंक ने आंध्रा बैंक और कॉरपोरेशन बैंक को मिलाया
- इंडियन बैंक ने इलाहाबाद बैंक का विलय किया
- इन मर्जरों से सरकारी बैंकों की संख्या 27 से घटकर 12 हो गई।
अगला बड़ा मर्जर कब?
हालांकि सरकार ने अभी आधिकारिक रूप से कोई तारीख या बैंक का नाम नहीं बताया है लेकिन उम्मीद है कि अप्रैल 2026 तक किसी बड़े मर्जर की घोषणा हो सकती है। वित्त मंत्रालय योजना को एक बार में नहीं, बल्कि दो से तीन चरणों में लागू करने पर विचार कर रहा है, ताकि पूंजी और परिचालन प्रबंधन आसान रहे।
