भारत में 7.3% आबादी के पास क्रिप्टोकरेंसी, दुनिया में 7वें स्थान पर, यूक्रेन सबसे आगे

punjabkesari.in Friday, Aug 12, 2022 - 01:15 PM (IST)

बिजनेस डेस्कः भले ही भारत सरकार ने अभी तक क्रिप्टोकरेंसी को कानूनी मान्यता नहीं दी हो। आरबीआई की डिजिटल करेंसी आने में देरी हो। बावजूद इसके देश की 7 फीसदी आबादी के पास डिजिटल करेंसी मौजूदा है। संयुक्त राष्ट्र द्वारा जारी रिपोर्ट के मुताबिक दुनिया भर में कोरोना महामारी के दौरान क्रिप्टोकरेंसी के इस्तेमाल में भारी तेजी आई है। इसी के दौरान भारत में भी क्रिप्टोकरेंसी में निवेश करने वालों की तादाद बढ़ी है।

7.3% आबादी के पास डिजिटल करेंसी

यूएन ट्रेड एंड डेवलपमेंट संस्था UNCTAD ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि 2021 में भारत की 7.3 फीसदी आबादी ने क्रिप्टोकरेंसी जैसे डिजिटल करेंसी में निवेश किया हुआ है और डिजिटल करेंसी रखने के मामले में दुनिया के टॉप 20 देशों में सातवें स्थान पर है। यूक्रेन में सबसे ज्यादा 12.7 फीसदी आबादी ने डिजिटल करेंसी में निवेश किया हुआ है तो रूस में 11.9 फीसदी, वेनेजुएला में 10.3 फीसदी, सिंगापुर में 9.4 फीसदी, केन्या में 8.5 फीसदी और अमेरिका में 8.3 फीसदी लोगों के पास डिजिटल करेंसी है।

भारत जैसे देशों में बढ़ा इस्तेमाल

रिपोर्ट में कहा गया है कि कोरोना महामारी के दौरान पूरी दुनिया में क्रिप्टोकरेंसी का इस्तेमाल बढ़ा है। खासतौर से विकाशील देशों में रिपोर्ट के मुताबिक इन प्राइवेट डिजिटल करेंसी ने रेमिटेंस में मदद की है लेकिन ये एक अस्थिर फाइनैंशियल एसेट है जो अपने साथ सामाजिक रिस्क और कीमत अपने साथ लेकर आता है। हाल ही में क्रिप्टोकरेंसी में जो गिरावट आई है उससे पता लग गया है कि डिजिटल करेंसी रखने के क्या खतरे हैं। 
 


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Content Writer

jyoti choudhary

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