राजनाथ सिंह ने ली अफसरों की क्लास, 12 मिनट लेट शुरू किया था प्रोग्राम

punjabkesari.in Thursday, Apr 20, 2017 - 02:59 PM (IST)

नई दिल्ली: सरकारी सिस्टम को चुस्त-दुरुस्त बनाने के लिए केंद्र की मोदी सरकार लगातार कदम उठा रही है। दरअसल, विज्ञान भवन में गुरुवार को 11वें सिविल सेवा दिवस के मौके पर केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह कुछ बदले-बदले अंदाज में दिखे। 12 मिनट देर से प्रोग्राम शरू होने पर गृह मंत्री ने अधिकारियों के सामने नाराजगी जताते हुए कहा, कार्यक्रम का निर्धारित समय सुबह 9:45 था, परंतु इसकी शुरुआत सुबह 9:57 पर हुई, जबकि ये कार्यक्रम समय से ही शुरू होना चाहिए था। क्या अब हमारे कमिटमेंट में कोई कमी आ गई हैं। इसको इंट्रोइंस्पेक्ट करना चाहिए। ये देरी आखिर क्यों हुई। 

कमिटमेंट के लिए जानी जाती है सरकार
राजनाथ ने कहा, भारत जो आज विश्व में बड़े स्तर पर काम कर रहा है तो उसकी वजह देश के अधिकारी भी हैं। आजादी के बाद अब लोगों का जीवन स्तर सुधरा है लोग चाहते हैं कि उनकी स्थितियों में सुधार हो और ये सुधार नीचे स्तर तक सिर्फ और सिर्फ हमारे अधिकारी ला सकते हैं। देश में सिविल सर्विसेज क्वालिटी में कभी कमी नहीं आई, पर ऐसी जगहों पर अधिकारी रिस्पांसिबिलिटी शेयर कर सकते हैं। आप सरकार के एक पार्ट हैं पर पॉलिटिकल सेटअप बदलता रहता है। हमने कई अधिकारी को देखा है कि वो अपनी रिस्पांसिबिलिटी के साथ काम करते हैं, परंतु कुछ ऐसे है जो रिस्पांसिबिलिटी से काम नहीं करते हैं। सरकार के अढ़ाई-तीन साल के कार्यकाल के दौरान यह सरकार डिग्री ऑफ कमिटमेंट के लिए जानी जाती है और ये सब अधिकारी जान लें। समाज के अंतिम सीढ़ी तक जो बैठा है उस तक सब योजना पहुंचे, ये हमारे प्रधानमंत्री का कमिटमेंट है।

अधिकारियों में हाे पेशेंस
उन्हाेंने कहा कि नए अधिकारी खास तौर पर ये समझे कि जब कोई पॉलिटिकल एग्जीक्यूटिव कुछ कहता है तो उससे डरो नहीं। इसके बजाए उनको कानून को बताईए। अगर नेता माइक पर ऑर्डर देता है तो उसको आर्डर देने दीजिए और आप कानून के मुताबिक काम करिए। कभी-कभी कुछ अधिकारी निर्णय लेने से बचते हैं। इससे प्रोग्रेस और प्रोसेस ठहर जाता है। इससे नुकसान होता है। आप एक निर्णायक भूमिका के तौर पर काम करें।


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