आने वाले बजट 2025 में टैक्सपेयर्स को मिल सकती है राहत, इनकम टैक्स में छूट देने पर सरकार कर रही विचार
punjabkesari.in Friday, Dec 27, 2024 - 11:58 AM (IST)
नेशनल डेस्क: भारत का आगामी आम बजट 2025 टैक्सपेयर्स के लिए एक खास मौका लेकर आ सकता है, क्योंकि केंद्र सरकार आयकर में राहत देने पर गंभीरता से विचार कर रही है। खासतौर पर, उन लोगों के लिए जिनकी सालाना आय 15 लाख रुपये तक है, सरकार इनकम टैक्स में राहत दे सकती है। इस कदम का उद्देश्य एक तरफ टैक्सपेयर्स को राहत देना है, तो दूसरी तरफ यह कदम भारतीय अर्थव्यवस्था को रफ्तार देने के लिए भी उठाया जा सकता है।
आयकर में छूट देने का विचार
रॉयटर्स ने अपनी रिपोर्ट में दो सरकारी सूत्रों के हवाले से बताया कि सरकार 15 लाख रुपये तक की आमदनी वालों के लिए आयकर में छूट देने पर विचार कर रही है। हालांकि, इस बारे में अभी तक पूरी जानकारी सामने नहीं आई है, और यह फैसला बजट से पहले लिया जा सकता है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने पहले ही संकेत दिया था कि आगामी बजट 2025 में टैक्स संरचना पर खास ध्यान दिया जाएगा। अगर सरकार यह फैसला लागू करती है तो इससे लाखों आम नागरिकों को राहत मिल सकती है, जो सालाना 15 लाख रुपये तक कमाते हैं।
क्या होगा इस छूट का असर?
यह फैसला खासतौर पर उन वर्गों के लिए फायदेमंद हो सकता है जिनकी सालाना आय 10 लाख रुपये से 15 लाख रुपये तक होती है। इस कदम से उनकी टैक्स की दरों में कमी आएगी और उनके पास ज्यादा पैसा रहेगा, जिसका इस्तेमाल वे अपने जीवन स्तर को सुधारने के लिए या फिर व्यक्तिगत खर्चों में कर सकते हैं।
विशेषज्ञों का विचार
कुछ प्रमुख अर्थशास्त्रियों और उद्योग विशेषज्ञों ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को यह सुझाव दिया था कि सरकार को आयकर दरों में कटौती करनी चाहिए, ताकि टैक्सपेयर्स को अधिक राहत मिल सके। उनका मानना है कि इस कदम से न सिर्फ आम आदमी को राहत मिलेगी, बल्कि इससे देश की आर्थिक वृद्धि को भी बढ़ावा मिलेगा। हाल के वर्षों में भारतीय अर्थव्यवस्था में उम्मीद के मुताबिक विकास नहीं हो पाया है, और इस कदम को उसी संदर्भ में देखा जा रहा है। इससे टैक्सपेयर्स का खर्च बढ़ेगा और उनकी आर्थिक स्थिति में सुधार होगा, जो अंततः पूरे देश की अर्थव्यवस्था को लाभ पहुंचाएगा। इसके अलावा, अर्थशास्त्रियों ने कस्टम ड्यूटी की दरों में संतुलन बनाने और निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भी उपाय सुझाए हैं, ताकि भारत को वैश्विक व्यापार में एक मजबूत स्थान मिल सके। इन सुझावों का उद्देश्य देश के व्यापारिक और आर्थिक दृष्टिकोण को मजबूती देना है।
नया इनकम टैक्स एक्ट तैयार हो रहा है
इस छूट के साथ-साथ, सरकार आयकर व्यवस्था में और भी बड़े बदलाव की योजना बना रही है। वित्त मंत्री ने पहले ही घोषणा की थी कि वित्तीय वर्ष 2024-25 के बजट में आयकर अधिनियम पर समग्र पुनर्विचार किया जाएगा। इसके बाद, सरकार ने इस पर एक समीक्षा समिति का गठन किया, जिसकी अध्यक्षता मुख्य आयकर आयुक्त वीके गुप्ता कर रहे हैं। यह समिति इस पर विचार करेगी कि आयकर कानून में क्या बदलाव किए जा सकते हैं और यह बदलाव किस प्रकार से टैक्सपेयर्स के लिए फायदेमंद होंगे। रिव्यू कमिटी की रिपोर्ट आने के बाद उम्मीद जताई जा रही है कि सरकार नया आयकर एक्ट पेश कर सकती है। हालांकि, यह बदलाव एक साल से अधिक समय तक लग सकता है क्योंकि नया कानून तैयार करने और उसे लागू करने में समय लगेगा। नए नियमों को बनाने, नए फॉर्म तैयार करने और फिर उन्हें सिस्टम में इंटीग्रेट करने की प्रक्रिया में समय लगेगा।
आर्थिक विकास में रुकावट की चिंता
सरकार के सामने एक बड़ी चुनौती यह है कि हाल के महीनों में भारतीय अर्थव्यवस्था में अपेक्षित तेजी नहीं आई है। भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) और एशियाई विकास बैंक (ADB) दोनों ने अपने विकास अनुमान को घटा दिया है। ADB ने पहले भारत के लिए 7% विकास का अनुमान जताया था, लेकिन अब इसे घटाकर 6.5% कर दिया गया है। वहीं, RBI ने अपने विकास अनुमान को 7.2% से घटाकर 6.6% कर दिया है। भारत की जुलाई-सितंबर तिमाही में जीडीपी वृद्धि 5.4% रही, जो जून तिमाही के 6.7% के मुकाबले कम थी। इस संदर्भ में सरकार के लिए यह जरूरी हो गया है कि वह अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए नए उपायों को लागू करे। आयकर में छूट देने और नए टैक्स एक्ट के जरिए सरकार अपने दोहरे उद्देश्य को पूरा करना चाहती है: एक तरफ आम नागरिकों को राहत देना, और दूसरी तरफ देश की अर्थव्यवस्था को तेज़ी से बढ़ाना।
सरकार की रणनीति
मोदी सरकार की योजना आयकर छूट देने के साथ-साथ अर्थव्यवस्था को गति देने की है। यदि यह छूट लागू होती है, तो न केवल टैक्सपेयर्स को राहत मिलेगी, बल्कि इसका सकारात्मक असर व्यापारिक गतिविधियों और घरेलू खपत पर भी पड़ेगा। सरकार का यह कदम व्यक्तिगत खर्च को बढ़ावा देने, निवेश को आकर्षित करने और आर्थिक वृद्धि को फिर से पटरी पर लाने के लिए है। इस तरह, 2025 के आम बजट में सरकार आयकर दरों में छूट देने, नए आयकर एक्ट के लिए बदलाव और अन्य कई उपायों को पेश कर सकती है, जिससे भारतीय अर्थव्यवस्था को नया दिशा मिल सकता है।