वरिष्ठ पत्रकार वेद प्रताप वैदिक का 78 साल की उम्र में निधन, बाथरूम में गिरने से गई जान

punjabkesari.in Tuesday, Mar 14, 2023 - 12:57 PM (IST)

नेशनल डेस्क: वरिष्ठ पत्रकार और अंतरराष्ट्रीय मामलों के जाने माने विशेषज्ञ वेद प्रताप वैदिक का मंगलवार सुबह निधन हो गया। वह 78 साल के थे। उनके करीबी सूत्रों ने यह जानकारी दी। उनके निजी सहायक के अनुसार वह सुबह करीब नौ बजे बाथरूम में संभवत: दिल का दौरा पड़ने से गिर पड़े। बाद में उन्हें बाथरूम का दरवाजा तोड़कर बाहर निकाला गया और उसके तुरंत बाद उनको घर के पास एक अस्पताल ले जाया गया जहां डॉक्टरों ने उनको मृत घोषित कर दिया।

इंदौर में होगा अंतिम संस्कार
उनके परिवार में एक पुत्र और एक पुत्री हैं। उनकी पत्नी का पहले ही निधन हो गया था। पारिवारिक सूत्रों के अनुसार उनका अंतिम संस्कार इंदौर में किया जाएगा। वह एक राजनीतिक विश्लेषक और स्वतंत्र स्तंभकार थे। वैदिक प्रेस ट्रस्ट ऑफ इंडिया (पीटीआई) की हिंदी समाचार एजेंसी 'भाषा' के संस्थापक-संपादक रहे थे। वह पहले टाइम्स समूह के समाचारपत्र नवभारत टाइम्स में संपादक (विचार) रहने के साथ ही भारतीय भाषा सम्मेलन के अंतिम अध्यक्ष थे। वैदिक वर्तमान में भारतीय भाषा सम्मेलन और भारतीय विदेश नीति परिषद के अध्यक्ष थे। उनके कॉलम 200 से अधिक समाचार पत्रों में प्रकाशित हुए थे।

मध्य प्रदेश के इंदौर में हुआ हुआ था वेदप्रताप का जन्म
वैदिक का जन्म 30 दिसंबर 1944 को मध्य प्रदेश के इंदौर में हुआ था। उन्होंने दिल्ली केे जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय से अंतरराष्ट्रीय राजनीति में पीएचडी की थी। उन्होंने करीब चार साल तक दिल्ली में राजनीति शास्त्र का अध्यापन भी किया। उनकी रुचि दर्शनशास्त्र और राजनीतिशास्त्र में भी थी। राजेन्द्र माथुर, प्रभाष जोशी की पीढ़ी की आखिरी हस्ती रहे वैदिक ने अफगानिस्तान पर एक शोध किया था और 50 से अधिक देशों की यात्रा की थी।

हाफिज सईद का इंटरव्यू लेकर खासे चर्चित हुए थे
समाचार एजेंसी पीटीआई भाषा, नवभारत टाइम्स, जनसत्ता में शीर्ष संपादकीय पदों पर रहे वैदिक 26 नवंबर 2008 के मुंबई हमलों के सरगना और लश्करे तैय्यबा के आतंकवादी हाफिज सईद का इंटरव्यू लेकर खासे चर्चित हुए थे। हाफिज सईद का इंटरव्यू लेने के बाद पूरे देश में काफी हंगामा हुआ और दो सांसदों ने उन्हें गिरफ्तार करके उन पर देशद्रोह का मुकदमा चलाने की मांग की थी। इस पर वैदिक ने निर्भीकता पूर्वक कहा था, ‘‘दो सांसद ही नहीं पूरे 543 सांसद ‘सर्वकुमति' से एक प्रस्ताव पारित करें और मुझे फांसी पर चढ़ा दें। मैं ऐसी संसद पर थूकता हूं।''
 


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Content Editor

rajesh kumar

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