बुरे सपने में बदला छुट्टियों का एंजॉयमेंट: बच्चों को घुमाने निकली थीं, दिल्ली स्टेशन परिसर में करंट लगने से हुई दर्दनाक मौत
punjabkesari.in Tuesday, Jun 27, 2023 - 02:09 PM (IST)

नेशनल डेस्क: एक हंसते-खेलते परिवार के छुट्टियों का एंजॉयमेंट उस समय बुरे सपने में बदल गया जब घर की बेटी की अचानक करंट लगने से मौत हो गई. दरअसल, बीते रविवार सुबह नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर एक 34 वर्षीय साक्षी आहूजा नाम की महिला रेलवे के खंबे में मौजूद करंट की चपेट में आने से दर्दनाक मौत हो गई। वहीं अब इस मामले में दिल्ली पुलिस और भारतीय रेलवे ने अलग-अलग जांच शुरू कर दी है। पुलिस ने कहा है कि मामले को लेकर जांच चल रही है और उचित कार्रवाई की जाएगी, वहीं रेलवे ने कहा कि महिला की मौत की जांच के लिए एक समिति बनाई गई है।
छुट्टियां बिताने जा रहे थे चंडीगढ़
बता दें कि यह हादसा बीते रविवार सुबह तब हुआ जब गेट नंबर 1 के समीप नई दिल्ली रेलवे स्टेशन परिसर में 34 वर्षीय साक्षी आहूजा चंडीगढ़ जाने के लिए ट्रेन में सवार होने जा रही थीं। यह पूरा परिवार गर्मियों की छुट्टियां बिताने चंडीगढ़ जा रहा थे लेकिन स्टेशन पर ही इस बुरे हादसे ने पूरे परिवार की खुशियों को मातम में बदल दिया।
खुले तारों के संपर्क में आ गयीं थी साक्षी
प्राथमिक जांच के अनुसार, साक्षी अपने बच्चों को बहन के साथ छुट्टियों पर जा रही थीं। उन्हें रविवार सुबह नई दिल्ली रेलवे स्टेशन से चंडीगढ़ के लिए वंदे भारत एक्सप्रेस पकड़नी थी। सारा परिवार सुबह 5.30 बजे स्टेशन पहुंचा और बारिश के चलते स्टेशन के बाहर वाटरलॉगिंग थी। बारिश में साक्षी आहूजा अपना संतुलन खो बैठीं। जब उन्होंने अपने आप को संभालने के लिए बिजली के एक खंभे को पकड़ा तो वह वहां पड़े कुछ खुले तारों के संपर्क में आ गयीं। हालांकि इस दौरान ऑटो और कैब ड्राइवर साक्षी आहूजा को बचाने के लिए दौड़े लेकिन उन्हें बचाया नहीं जा सका। उसे बचाने के प्रयास में उसकी बहन को भी झटका लगा। आहूजा के 9 साल के बेटे और 7 साल की बेटी, जो उनके बगल में खड़े थे, को समय रहते बचा लिया गया।
पुलिस ने बताया कि घटना के समय महिला के साथ उसके पिता, मां और भाई भी थे। पुलिस ने बताया कि आहूजा लक्ष्मी नगर क्षेत्र के प्रियदर्शनी विहार में लवली पब्लिक स्कूल में शिक्षिका थी। परिवार के मुताबिक, टीचर के साथ- साथ साक्षी एक आर्किटेक्ट भी थीं। साक्षी के पति एक जापानी फर्म में काम करते हैं।
वहीं अब डीसीपी (रेलवे) अपूर्व गुप्ता ने कहा, "मशीनरी (287) से संबंधित लापरवाही और लापरवाह आचरण के कारण मौत का आईपीसी की धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है।"
मुआवजा नहीं हमारी बेटी वापस चाहिए..
आहूजा के परिवार का दावा है कि साक्षी 20-25 मिनट तक यूं ही पड़ी रही, उसके बाद कुछ टैक्सी और ऑटो वाले मदद को आए लेकिन जब अस्पताल पहुंचे तब डाॅक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। साक्षी के परिवार का आरोप है कि रेलवे की लापरवाही की वजह से उसकी जान चली गई। उन्होंने कहा कि हमें किसी भी तरह का मुआवजा नहीं चाहिए, मुआवजे से हमारी बेटी वापस नहीं आ जाएगी, हमें हमारी बेटी ही वापस चाहिए।
वहीं, जांच में सामने आया कि हादसे वाली जगह पर एक हाई-मास्ट लाइट है और दो साइनेज पोल के लिए खुली वायरिंग थी। पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज को कब्जे में लिया है और स्टेशन के मेंटेनेंस डिपार्टमेंट को नोटिस भेजकर जांच के लिए बुलाया जाएगा।