ओपी चौधरी: न कलेक्टर रहे और नहीं बन पाए विधायक, सरकार भी गई

punjabkesari.in Wednesday, Dec 12, 2018 - 08:47 PM (IST)

रायगढ़ः छत्तीसगढ़ में भारतीय प्रशासनिक सेवा को छोड़कर राजनीति में उतरे ओ.पी.चौधरी को जिले की खरसिया सीट पर करारी शिकस्त का सामना करना पड़ा, और उनका आजादी के बाद पहली बार इस सीट पर भाजपा को जीत दिलाने का सपना पूरा नही हो सका।

रायपुर के कलेक्टर पद से इस्तीफा देकर भाजपा के टिकट पर चौधरी खरसिया सीट पर चुनाव मैदान में इस दावे के साथ मैदान में उतरे थे कि आजादी के बाद पहली बार लगातार कांग्रेस के कब्जे में रही इस सीट पर भाजपा का परचम लहरायेंगे, पर करारी शिकस्त के साथ उनका सपना पूरा नही हो सका। इस सीट पर कांग्रेस प्रत्याशी उमेश पटेल को 94201 वोट मिले तो वहीं को 77234 वोट मिले।

इस सीट पर चुनाव प्रचार काफी कटुताभरा रहा। इसके चलते मतगणना स्थल के बाहर चौधरी को जबरदस्त हूटिंग का सामना करना पड़ा।  चौधरी अपने प्रतिद्वंदी को आगे बढ़ते देख जब मतगणना स्थल से बाहर निकल रहे थे तब यहां कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने उन्हें खूब खरी-खोटी सुनाई और जमकर हूटिंग की।
 

इसी बीच उमेश पटेल वहां पहुंच गए और कार्यकर्ताओं को शांत कराया और चौधरी को गले लगाया। उन्होंने अपने समर्थकों को शांत करा कर उन्हें सुरक्षित बाहर भेजा। जिले की पांचो विधान सभा सीट पर इस बार कांग्रेस को जीत मिली है। जिले में पहली बार जिले के पांचो विधानसभा सीट में कांग्रेस को जीत मिली है। पिछले 15 सालों से कांग्रेस सत्ता से बाहर रहीं और इस बार कांग्रेस की लहर ने जिले से भी भाजपा का सूपड़ा साफ कर दिया।


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Yaspal

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