कनाडा के साथ परमाणु समझौता 2008 के करार के कारण संभव हो रहा है: कांग्रेस

punjabkesari.in Wednesday, Nov 26, 2025 - 05:56 PM (IST)

नेशनल डेस्क: कांग्रेस ने बुधवार को कहा कि साल 2008 के भारत-अमेरिका परमाणु समझौते के कारण यह संभव हो सका है कि भारत और कनाडा के बीच 2.8 अरब डॉलर के एक समझौते को अंतिम रूप दिया जा रहा है। पार्टी महसचिव जयराम रमेश ने यह भी कहा कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने अमेरिका के साथ परमाणु करार का विरोध किया था। रमेश ने ‘एक्स' पर पोस्ट किया, ‘‘ख़बर है कि भारत और कनाडा के बीच 2.8 अरब डॉलर के एक समझौते को अंतिम रूप देने की तैयारी है, जिसके तहत अगले दस वर्षों तक कनाडा भारत को यूरेनियम की आपूर्ति करेगा।''

उन्होंने कहा कि यह सौदा पूरी तरह उस 2008 के भारत-अमेरिका परमाणु समझौते की वजह से संभव हो पाया है, जिसके सूत्रधार डॉ. मनमोहन सिंह थे, जबकि उस समय भाजपा इसका विरोध कर रही थी। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बीते रविवार को जी20 शिखर सम्मेलन से इतर जोहानिसबर्ग में अपने कनाडाई समकक्ष मार्क कार्नी से मुलाकात की थी। इस दौरान दोनों नेता व्यापार, निवेश, प्रौद्योगिकी और ऊर्जा जैसे क्षेत्रों में संबंधों को आगे बढ़ाने के अलावा रक्षा तथा अंतरिक्ष क्षेत्रों में गहन सहयोग की संभावनाएं तलाशने पर सहमत हुए थे।

इस मुलाकात के बाद भारतीय विदेश मंत्रालय ने कहा था, “दोनों नेताओं ने उच्च-महत्वाकांक्षी व्यापक आर्थिक भागीदारी समझौते (सीईपीए) पर वार्ता शुरू करने पर सहमति जताई, जिसका मकसद 2030 तक द्विपक्षीय व्यापार को दोगुना करके 50 अरब अमेरिकी डॉलर तक पहुंचाना है। दोनों पक्षों ने अपने दीर्घकालिक असैन्य परमाणु सहयोग की पुष्टि की। उन्होंने दीर्घकालिक यूरेनियम आपूर्ति व्यवस्था सहित अन्य मुद्दे पर सहयोग बढ़ाने के लिए जारी चर्चाओं में हुई प्रगति की समीक्षा की।” 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Content Editor

Mansa Devi

Related News