अमित शाह का बड़ा बयान, कहा- CAA, राममंदिर, अनुच्छेद 370 और ट्रिपल तलाक जैसे मुद्दों के फैसले हो गए, अब इसकी बारी...

punjabkesari.in Saturday, Apr 23, 2022 - 02:24 PM (IST)

नेशनल डेस्क: केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने देश में जल्द ही कॉमन सिविल कोड (समान नागरिक संहिता) लागू करने के संकेत दिए हैं। भाजपा के पार्टी कार्यालय में उन्होंने कोर कमेटी के साथ मीटिंग की। इस दौरान उन्होंने कहा- CAA, राममंदिर, अनुच्छेद 370 और ट्रिपल तलाक जैसे मुद्दों के फैसले हो गए हैं। अब बारी कॉमन सिविल कोड की है। उन्होंने यह भी बताया कि उत्तराखंड में कॉमन सिविल कोड पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर लागू किया जा रहा है। ड्राफ्ट तैयार किया जा रहा है। जो भी बचा है, सब ठीक कर देंगे।

इसके साथ ही उन्होंने दावा किया कि केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार ने कश्मीर में आतंकवाद, वामपंथी उग्रवाद और पूर्वोत्तर में मादक पदार्थों व हथियारबंद समूहों जैसी तीन समस्याओं के स्थाई समाधान की ओर बहुत बड़ी सफलता हासिल की है। पुलिस अनुसंधान और विकास ब्यूरो (बीपीआर एंड डी) द्वारा यहां आयोजित 48 वीं अखिल भारतीय पुलिस विज्ञान कांग्रेस (एआईपीएससी) के उद्घाटन के अवसर पर बोलते हुए उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि पुलिस को ‘ टेक-सेवी' (प्रौद्योगिकी में पारंगत)बनकर अपराधी से दो कदम आगे रहना चाहिए। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि पिछले आठ वर्षों में नरेंद्र मोदी सरकार ने कश्मीर मुद्दे, नक्सलवाद और पूर्वोत्तर क्षेत्र में नशीले पदार्थों तथा हथियारबंद समूहों जैसी समस्याओं का समाधान लगभग कर दिया है। 

गृह मंत्री ने कहा, ‘‘ कई हथियारबंद समूह हथियार डालकर मुख्यधारा में शामिल हुए हैं। अनुच्छेद 370 खत्म होने के बाद कश्मीर में विकास के एक ऩए युग की शुरुआत हुई है।'' उन्होंने कहा कि यह बदलाव इसलिए संभव हुआ क्योंकि सरकार ने गहन विचार विमर्श और समस्याओं के विश्लेषण के बाद रणनीति पर काम किया। उन्होंने आंतरिक सुरक्षा को मजबूत करने के लिए पुलिस बल के आधुनिकीकरण की आवश्यकता पर भी जोर दिया। उन्होंने कहा, ‘‘ अपराधी दुनियाभर की नई तकनीक से लैस होते जा रहे हैं और ये बहुत ज़रूरी है कि पुलिस अपराधी से दो कदम आगे रहे और इसके लिए पुलिस को भी आधुनिक, टेक-सेवी बनना होगा और तकनीक के उपयोग का बीट तक प्रयोग करना होगा। जब तक कांस्टेबल और हेड कॉन्स्टेबल तक तकनीक का उपयोग नहीं पहुंचता तब तक हम नए प्रकार के अपराधों के खिलाफ नहीं लड़ सकते।'' 

 केंद्रीय गृह मंत्री ने कहा कि मोदी सरकार के तहत सुरक्षा एजेंसियों ने आतंकी समूहों के मुकाबले बढ़त हासिल कर ली है। शाह ने कहा कि क़ानून और व्यवस्था राज्य का विषय है, इसीलिए पुलिस राज्य की चुनी हुई सरकार के निर्देशन में चलती है, ऐसे में बहुत बड़ी चुनौती एक समान प्रतिक्रिया है। अगर राज्य की पुलिस ‘आइसोलेशन' (अलग-थलग स्थिति) में काम करती है तो इन सब चुनौतियों का हम ठीक से सामना नहीं कर पाएंगे। उन्होंने कहा कि अखिल भारतीय पुलिस विज्ञान कांग्रेस और डीजी कांफ्रेंस जैसी बैठकों व व्यवस्था के माध्यम से राज्य यहां मिलकर अपने क्षेत्र विशेष की समस्याओं की चर्चा कर एकसमान नीति बना सकते हैं। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने ‘पुलिस टेक्नोलॉजी मिशन' की घोषणा की है। 


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Content Writer

Anil dev

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