भारत सरकार की वेबसाइटों को अपरंपरागत साइबर युद्ध में निशाना बनाया जा रहा है: महाराष्ट्र साइबर
punjabkesari.in Saturday, May 10, 2025 - 06:51 PM (IST)

नेशनल डेस्क: भारत और पाकिस्तान में सैन्य संघर्ष के बीच सीमा पार से आतंकवादी संगठन सरकारी वेबसाइटों को निशाना बनाकर एक अपरंपरागत साइबर युद्ध शुरू करने का प्रयास कर रहे हैं। महाराष्ट्र साइबर के अधिकारियों ने शनिवार को यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि इन साइबर हमलों के पीछे मुख्य उद्देश्य प्रमुख प्रशासनिक कार्यों में जानबूझकर बाधा डालना और ‘ऑपरेशन सिंदूर' की शुरुआत के बाद गलत सूचना फैलाना प्रतीत होता है। साइबर अपराध का पता लगाने वाली एजेंसी ने कहा कि उसने पाया है कि ‘ऑपरेशन सिंदूर' के बाद से कई महत्वपूर्ण बुनियादी ढांचा प्रणालियों और सरकारी वेबसाइटों पर लगातार साइबर हमले हुए हैं।
एजेंसी ने एक बयान में कहा कि सीमा पार की शत्रुतापूर्ण साइबर संस्थाओं ने आक्रामकता और साइबर युद्ध छेड़ने के प्रयास तेज कर दिए हैं जो एक नया तथा अपरंपरागत रूप है। उसने कहा कि इन साइबर हमलों का उद्देश्य आवश्यक सार्वजनिक सेवाओं को बाधित करना और सरकारी प्लेटफार्मों की विश्वसनीयता को कम करना है। बयान में कहा गया है कि संस्थागत डिजिटल परिसंपत्तियों को सीधे निशाना बनाने के अलावा, हमलावर व्यक्तिगत उपयोगकर्ता उपकरणों को नुकसान पहुंचाने के इरादे से मैलवेयर से संक्रमित फाइलें प्रसारित कर रहे थे। मैलवेयर, दुर्भावनापूर्ण सॉफ्टवेयर का संक्षिप्त रूप है, जो साइबर अपराधियों (जिन्हें अक्सर हैकर्स कहा जाता है) द्वारा डेटा चोरी करने और कंप्यूटर और कंप्यूटर प्रणाली को नुकसान पहुंचाने या नष्ट करने के लिए विकसित किसी भी घुसपैठिया सॉफ्टवेयर को संदर्भित करता है।
एजेंसी ने कहा कि वह इस तरह के घटनाक्रमों पर नजर रख रही है, उभरते साइबर खतरों की पहचान कर रही है, तथा संभावित जोखिमों को कम करने के लिए सार्वजनिक परामर्श जारी कर रही है। बयान में कहा गया है कि विभाग ने लक्षित संस्थाओं और विभागों को औपचारिक रूप से सतर्क कर दिया है, ताकि समय पर हस्तक्षेप और जवाबी कदम उठाये जा सके। एजेंसी ने नागरिकों को डिजिटल सामग्री से निपटने के दौरान सतर्क रहने की सलाह दी है।